भाजपा में शामिल हुए उत्तराखंड के पूर्व कांग्रेस अध्यक्ष किशोर उपाध्याय, टिहरी से प्रत्याशी घोषित,हरीश रावत सहित कांग्रेस ने पांच सीटों पर बदले प्रत्याशी

उत्तराखंड के पूर्व कांग्रेस प्रमुख किशोर उपाध्याय को कांग्रेस ने छह साल के लिए पार्टी से निष्कासित कर दिया है।  भाजपा से उनकी नजदीकियों की खबरों के बीच पार्टी ने उन्हे सभी पदों से पिछले दिनों हटा दिया था।

कांग्रेस के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष किशोर उपाध्याय भाजपा में शामिल हो गए हैं।देहरादून में चुनाव प्रभारी प्रहलाद जोशी और भाजपा प्रदेश अध्यक्ष मदन कौशिक की मौजदूगी में किशोर उपाध्याय भाजपा में शामिल हुए। इससे पहले बुधवार को कांग्रेस ने उन्हें छह साल के लिए पार्टी से निष्कासित कर दिया है।

विधानसभा चुनाव-2022 के लिए बीजेपी ने बुधवार देर शाम प्रत्याशियों की दूसरी सूची जारी की है।टिहरी विधानसभा क्षेत्र से भाजपा ने किशोर उपाध्याय को प्रत्याशी घोषित कर दिया है।

भाजपा के प्रत्याशी:
केदारनाथ- शैलारानी रावत
झबरेड़ा-राजपाल सिंह
पिरान कलियर – मुनीश सैनी
रानीखेत- प्रमोद नैनवाल
जागेश्वर-मोहन सिंह मेहरा
कोटद्वार-ऋतु खंडूडी
लालकुआं- मोहन सिंह बिष्ट
हल्द्वानी- जोगेंद्रपाल सिंह रौतेला
रुद्रपुर- शिव अरोड़ा

कांग्रेस ने पांच सीटों पर बदले गए टिकट

उत्तराखंड विधानसभा चुनाव में कांग्रेस में जारी बगावत और असंतोष के परिणाम लगता है आने लगे हैं। पूर्व मुख्यमंत्री और कांग्रेस के दिग्गज नेता हरीश रावत की सीट बदल गई है।

कांग्रेस के वरिष्ठ प्रवक्ता धीरेंद्र प्रताप ने बताया कि पूर्व मुख्यमंत्री एवं कांग्रेस चुनाव अभियान समिति के अध्यक्ष हरीश रावत लाल कुआं से, पूर्व विधायक रणजीत रावत सल्ट से, महेश शर्मा कालाढूंगी से और पूर्व सांसद महेंद्र पाल रामनगर से उत्तराखंड विधानसभा चुनाव में कांग्रेस के उम्मीदवार होंगे।

कांग्रेस ने पांच सीटों पर टिकट बदल दिए हैं। डोईवाला से मोहित उनियाल का टिकट कटा। गौरव चौधरी को मिला। चौबट्टाखाल से केसर सिंह नेगी। नरेंद्रनगर से ओम गोपाल रावत और ज्वालापुर से बरखारानी का टिकट बदल कर रवि बहादुर को दिया। टिहरी पर अब भी सस्पेंस बना हुआ है।

कांग्रेस ने विधानसभा चुनाव 2022 के लिए प्रत्याशियों की दूसरी सूची जारी की, दूसरी सूची में 11 में से 10 सीटों पर नए चेहरे

कांग्रेस ने विधानसभा चुनाव 2022 के लिए 53 प्रत्याशियों की पहली सूची के बाद सोमवार देर रात 11 प्रत्याशियों की सूची जारी कर दी है।सोमवार को जारी कांग्रेस प्रत्याशियों की दूसरी सूची की बात करें तो वर्ष 2017 के चुनाव में पार्टी ने अब तक 30 नए चेहरों पर भरोसा किया है। दूसरी सूची में 11 में से 10 नए चेहरे हैं। पार्टी की दूसरी सूची में भी तीन महिलाओं को टिकट दिया गया है। जबकि पहली सूची में भी तीन महिलाओं के नाम बाहर आए थे। इस तरह से पार्टी अभी तक 64 प्रत्याशियों की सूची में छह महिलाओं को टिकट दे चुकी है।

कुमाऊं की रामनगर सीट पर पिछली बार के प्रत्याशी रहे रणजीत रावत को बड़ी पटखनी देते हुए पूर्व सीएम हरीश  रावत टिकट झटकने में कामयाब रहे हैं। इस सीट पर दोनों नेताओं के बीच कांटे की टक्कर थी।हरक सिंह रावत की बहू अनुकृति गुसाईं लैंसडाउन विधानसभा सीट से चुनाव लड़ेंगी। चौकाने वाली बात है कि कांग्रेस ने पूर्व कैबिनेट मंत्री हरीश चंद्र दुर्गापाल सहित छह कद्दावर नेताओं के टिकट काट दिए हैं।

सीट उम्मीदवार
डोईवाला – मोहित उनियाल शर्मा
कैंट- सूर्यकांत धस्माना
ऋषिकेश- जयेंद्र रमोला
ज्वालापुर – बरखा रानी
झबरेड़ा – वीरेंद्र जाती
खानपुर – सुभाष चौधरी
लक्सर – डा.अंतरिक्ष सैनी
रामनगर – हरीश रावत
लालकुआं – संध्या डालाकोटी
कालाढूंगी – डॉ. महेंद्र पाल
लैंसडौन – अनुकृति गुसाईं

इन सीटों का रेाका:
नरेंद्र नगर
टिहरी
सल्ट
हरिद्वार ग्रामीण
रुड़की
चौबट्टाखाल

उत्तराखंड में 31 जनवरी तक सभी शिक्षण संस्थान बंद रहेंगे, रैलियों, रोड शो पर भी रोक

उत्तराखंड में लागू कोविड प्रतिबंध की अवधि शनिवार को खत्म हो गई थी। उच्च स्तरीय बैठक में हुए मंथन के बाद शासन ने प्रतिबंध को 31 जनवरी तक बढ़ाने का निर्णय लिया। नई गाइडलाइन के मुताबिक, प्रदेश में नाइट कर्फ्यू रात 10 से सुबह छह बजे तक प्रभावी रहेगा। राज्य में 31 जनवरी तक आंगनबाड़ी से लेकर 12वीं तक के सभी सरकारी, सहायताप्राप्त अशासकीय और निजी शिक्षण संस्थान बंद रहेंगे। इनमें आनलाइन पढ़ाई जारी रहेगी। प्रदेश में अन्य राज्यों से आने वाले व्यक्तियों के कोविड वैक्सीनेशन या कोरोना जांच की निगेटिव रिपोर्ट की अनिवार्यता की भी अब जरूरत नहीं होगी।

चुनाव आयोग की गाइडलाइन को भी कोविड प्रतिबंध में समाहित किया गया है। इसके तहत राजनीतिक दलों को राहत दी गई है। 31 जनवरी को नामांकन प्रक्रिया पूरी होने के बाद दलों को छोटी सभाओं की अनुमति होगी। मैदान की कुल क्षमता के 50 फीसदी लोग ही शामिल हो सकेंगे। रैली, प्रदर्शन, रोड शो, पदयात्रा, बाइक रैली जैसे आयोजन नहीं होंगे। इसके अलावा घर-घर जनसंपर्क के लिए अब 5 के स्थान पर 10 व्यक्तियों को अनुमति होगी।

कोविड के संक्रमण को देखते हुए स्वीमिंग पूल, वाटर पार्क भी 31 जनवरी तक बंद रहेंगे। इस दौरान मनोरंजन, शैक्षिक व सांस्कृतिक समारोह की भी अनुमति नहीं होगी। जिम, शापिंग माल, सिनेमा हाल, होटल, रेस्तरां, ढाबे, स्पा, सैलून, थिएटर, आडिटोरियम, सभाकक्ष, खेल संस्थान, स्टेडियम व खेल मैदान 50 प्रतिशत क्षमता के साथ खुलेंगे। शादी समारोह में स्थल के 50 प्रतिशत क्षमता के साथ व्यक्तियों को शामिल होने की अनुमति होगी।

उत्तराखंड में आज जारी होगी कांग्रेस के उम्मीदवारों की पहली सूची

उत्तराखंड विधानसभा चुनाव  के लिए कांग्रेस आज प्रत्याशियों की पहली सूची जारी कर सकती है।  केंद्रीय चुनाव समिति की बैठक के बाद देर शाम 45 से अधिक उम्मीदवारों की पहली सूची जारी की जा सकती है। वहीं कुछ सीटों पर अभी भी विवाद जारी है और इसको सुलझाने का प्रयास किया जा रहा है। दिल्ली में पिछले दस दिनों से राज्य के दिग्गज टिकटों पर माथापच्ची कर रहे हैं और राज्य में चुनाव प्रचार से दूर हैं।पार्टी प्रदेश अध्यक्ष गणेश गोदियाल ने कहा कि संभवत: शनिवार को पार्टी प्रत्याशियों की घोषणा कर देगी। उन्होंने कहा कि सभी 70 सीटों पर रायशुमारी के बाद सूची पहले ही सीईसी को सौंप दी गई थी।

आज जारी होने वाली लिस्ट से पहले होने वाली बैठक के लिए राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत, प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष गणेश गोदियाल और नेता प्रतिपक्ष प्रीतम सिंह को दिल्ली में रोक दिया गया है। वहीं ये नेता पिछले दस दिल्ली में डेरा डाले हुए हैं। लेकिन फिर भी सीटों को लेकर विवाद बना हुआ है।

कांग्रेस आज 40-45 सीटों पर प्रत्याशियों के नाम का ऐलान कर सकती है. वहीं अभी भी 25 से 30 सीटों पर विवाद चल रहा है। वहीं आज नेताओं के साथ-साथ पार्टी पदाधिकारियों और दावेदारों की निगाहें लिस्ट पर टिकी हुई हैं। बताया जा रहा है कि राज्य के सभी गुटों की सहमति से करीब 40 से 45 टिकट तय किए गए हैं और बाकी बची सीटों पर बाद में प्रत्याशी तय किए जाएंगे और इसके लिए उम्मीदवारों का पैनल सीईसी को सौंप दिया गया है।

उत्तराखंड विधानसभा चुनाव के लिए बीजेपी ने जारी की उम्मीदवारों की पहली लिस्ट, मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी खटीमा से चुनाव लड़ेंगे 

उत्तराखंड विधानसभा चुनाव के लिए बीजेपी ने अपने प्रत्याशियों की पहली लिस्ट जारी कर दी है। 70 सीटों वाले उत्तराखंड में एक चरण में मतदान होगा, यहां 14 फरवरी को वोटिंग की जाएगी। बीजेपी की पहली लिस्ट में सीएम पुष्कर धामी की सीट भी फाइनल कर दी गई है। उम्मीदवार सूची के मुताबिक धामी को खटीमा सीट से पार्टी ने चुनावी मैदान में उतारा है।इस सूची में 59 सीटों पर उम्मीदवारों के नाम फाइनल किए गए हैं। शेष सीटों पर दोबारा मंथन के बाद अगले प्रत्याशियों की दूसरी सूची जारी हो सकती है।

पहली लिस्ट में अभी 70 सीटों में से 59 सीटों पर प्रत्याशियों के नामों पर मुहर लगा दी गई है।प्रदेश चुनाव प्रभारी प्रह्लाद जोशी ने गुरुवार को पत्रकार वार्ता में 59 सीटों पर उम्मीदवारों के नामों की घोषणा की। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी खटीमा सीट से चुनाव लड़ेंगे। बची 11 सीटों पर बाद में नामों का एलान किया जाएगा। इस बार पांच महिलाओं को इस बार टिकट दिया गया है। वहीं 13 ब्राह्मण नेताओं को टिकट दिया गया है। 10 विधायकों के टिकट कटे हैं। इस बार कुंवर प्रणव चैंपियन का टिकट काट दिया गया है। उनकी पत्नी को टिकट दिया गया है।

इनको मिला टिकट:

  1. पुष्कर सिंह धामी – खटीमा
  2. मदन कौशिक – हरिद्वार शहर
  3. केदार सिंह रावत -यमुनोत्री
  4. भरत सिंह चौधरी -रुद्रप्रयाग
  5. शक्ति लाल साहब -घनसाली
  6. विनोद कंडारी -देवप्रयाग
  7. सुबोध उनियाल- नरेंद्र नगर
  8. प्रीतम पंवार- धनोल्टी
  9. सतपाल महाराज -चौबट्टाखाल
  10. राम चरण नौटियाल -चकराता
  11. मुन्ना सिंह चौहान -विकासनगर
  12. शैलेंद्र मोहन सिंघल-जसपुर
  13. उमेश शर्मा -रायपुर
  14. खजान दास -राजपुर रोड
  15. सविता कपूर -देहरादून कैंट
  16. गणेश जोशी- मसूरी
  17. सुरेश राठोर -ज्वालापुर
  18. प्रदीप बत्रा -रुड़की
  19. देवयानी कुंवर प्रणव चैंपियन- खानपुर
  20. संजय गुप्ता -लक्सर
  21. स्वामी यतिश्वरानंद- हरिद्वार ग्रामीण
  22. डॉक्टर धन सिंह रावत- श्रीनगर
  23. राजकुमार पोरी -पौड़ी
  24. धन सिंह धामी- धारचूला
  25. बिशन सिंह चुफाल- डीडीहाट
  26. आदेश चौहान -बीएचईएल हरिद्वार
  27. चंद्रा पंत -पिथौरागढ़
  28. चंदन राम दास -बागेश्वर
  29. दिलीप सिंह रावत- लैंसडौन
  30. महेश जीना- सल्ट
  31. पूरण सिंह फर्त्याल- लोहाघाट
  32. बंशीधर भगत -कालाढूंगी
  33. दीवान सिंह बिष्ट -रामनगर
  34. त्रिलोक सिंह चीमा- काशीपुर
  35. अरविंद पांडे- गदरपुर
  36. सौरभ बहुगुणा -सितारगंज
  37. फकीरा राम- गंगोलीहाट
  38. सुरेश गाड़िया- कपकोट
  39. महेश शर्मा- अल्मोड़ा
  40. सत्यपाल -भगवानपुर
  41. कैलाश गहतोड़ी -चंपावत
  42. अनिल नौटियाल -कर्णप्रयाग
  43. रेणू बिष्ट -यमकेश्वर
  44. प्रेमसिंह राणा – नानकमत्ता
  45. राजेश कुमार – बाजपुर
  46. दुर्गेश्वर लाल – पुरोला
  47. सुरेश चौहान – गंगोत्री
  48. महेंद्र भट्ट -बदरीनाथ
  49. भोपाल राम टम्टा – थराली
  50. विजय सिंह पंवार उर्फ गुड्डू – प्रतापनगर
  51. सहदेव सिंह पुंडीर- सहसपुर
  52. विनोद चमोली – धर्मपुर
  53. प्रेमचंद अग्रवाल -ऋषिकेश
  54. दिनेश पंवार – मंगलौर
  55. अनिल शाही – द्वाराहाट
  56. रेखा आर्य – सोमेश्वर
  57. राम सिंह कैड़ा – भीमताल
  58. सरिता आर्य – नैनीताल
  59. किच्छा- राजेश शुक्ला

उत्तराखंड की पांचवीं विधानसभा के चुनाव के लिए भाजपा के करीब 60 टिकट फाइनल, आज होगी उम्मीदवारों की घोषणा

उत्तराखंड की पांचवीं विधानसभा के चुनाव के लिए भाजपा ने बुधवार को 60 से अधिक टिकट फाइनल कर दिए हैं। बृहस्पतिवार दोपहर 12 बजे पार्टी प्रत्याशियों की पहली सूची जारी कर देगी। शेष सीटों पर दोबारा मंथन के बाद अगले प्रत्याशियों की दूसरी सूची जारी हो सकती है। प्रदेश भाजपा अध्यक्ष मदन कौशिक ने बृहस्पतिवार तक प्रत्याशियों की पहली सूची जारी हो जाने की पुष्टि की।

बुधवार को नई दिल्ली में पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा की अध्यक्षता में केंद्रीय संसदीय बोर्ड की बैठक हुई। बैठक में केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह, राष्ट्रीय महामंत्री संगठन बीएल संतोष, उत्तराखंड चुनाव प्रभारी प्रह्लाद जोशी, उत्तराखंड से मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी, प्रदेश अध्यक्ष मदन कौशिक और प्रदेश महामंत्री संगठन अजेय कुमार शामिल हुए।

सूत्रों के मुताबिक, देर रात तक उत्तराखंड की सभी 70 विधानसभा सीटों पर आए नामों के पैनल पर मंथन हुआ। इनमें से 60 से अधिक सीटों पर नाम फाइनल कर लिए गए। पार्टी सूत्रों के मुताबिक मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी खटीमा और प्रदेश अध्यक्ष मदन कौशिक हरिद्वार विधानसभा सीट से चुनाव लड़ेंगे। उनके अलावा सभी मंत्रियों के टिकट भी फाइनल हो गए हैं। बृहस्पतिवार को पार्टी के केंद्रीय कार्यालय में पत्रकार वार्ता के दौरान प्रत्याशियों की पहली सूची जारी हो जाएगी। कोटद्वार, डोईवाला समेत करीब 10 सीटों पर पार्टी बाद में निर्णय करेगी।

केंद्रीय संसदीय बोर्ड की बैठक में सभी 70 सीटों के पैनल पर गहन विचार-विमर्श हुआ। अधिकांश विस सीटों पर नाम फाइनल हो चुके हैं। बृहस्पतिवार को प्रत्याशियों के नामों की घोषणा हो सकती है।                                                                                       – मदन कौशिक, प्रदेश अध्यक्ष, भाजपा

कांग्रेस के दबदबे वाली चकराता विधानसभा सीट पर इस बार भाजपा नया प्रयोग कर सकती है। पार्टी रामशरण नौटियाल पर दांव लगा सकती है। नौटियाल लंबे समय भाजपा में हैं और टिकट की दावेदारी करते आए हैं। उनके पुत्र मशहूर पार्श्व गायक जुबिन नौटियाल पिता के टिकट के लिए प्रयास कर रहे हैं।

कांग्रेस भी जल्द जारी कर सकती है उम्मीदवारों की सूची टिकट बंटवारे को लेकर कांग्रेस में भी लगातार मंथन का दौर जारी है। पार्टी सूत्रों का कहना है कि कांग्रेस भी जल्द अपने उम्मीदवारों का एलान कर सकती है। दरअसल, भाजपा और कांग्रेस के बीच टिकटों की घोषणा को लेकर रणनीतिक तौर पर -पहले आप, पहले आप की होड़ लगी थी। एक-दूसरे के उम्मीदवारों की सूची देखकर अपने पत्ते खोलने की बात कही जा रही थी। अगर भाजपा अपने सीटों का एलान बृहस्पतिवार को कर देती है तो समझा जाता है कि कांग्रेस की सूची भी जल्द जारी हो सकती है। यह भी बताया गया है कि हरक सिंह की कांग्रेस में वापसी पर भी पार्टी जल्द फैसला लेगी।

भाजपा से निष्कासित होने के बाद हरक सिंह रावत ने कहा कि उत्तराखंड में कांग्रेस बनाएगी सरकार, कांग्रेस के लिए अब पूरी तन-मन से काम करेंगे

भाजपा ने हरक सिंह रावत को छह साल के लिए पार्टी से निकाल दिया है। इसको लेकर हरक सिंह रावत का बयान सामने आया है। उन्होंने कहा कि पार्टी ने इतना बड़ा फैसला लेने से पहले एक बार भी उनसे बात तक नहीं की। उन्होंने ये भी साफ किया कि अगर मैं कांग्रेस छोड़कर भाजपा में शामिल न हुआ होता तो चार साल पहले ही पार्टी से इस्तीफा दे चुका होता।

हरक सिंह रावत ने कहा कि उत्तराखंड में कांग्रेस ही सरकार बनाएगी। रावत ने कहा कि वह कांग्रेस के लिए अब पूरी तन-मन से काम करेंगे। रावत के अनुसार, आगामी विधानसभा चुनाव में कांग्रेस की जीत पक्की है। बीजेपी ने हरक को रविवार देर रात पार्टी से निष्कासित कर अंतिम समय में ही सही सरकार से बर्खास्त कर उनके बगावती तेवरों से हो रहे नुकसान की भरपाई करने का प्रयास किया है।

उन्होंने पार्टी के इस फैसले पर नाराजगी जताई है। उन्होंने कहा कि ये फैसला लेने से पहले मुझसे बात तक नहीं की गई है। उन्होंने ये भी कहा कि मुझे मंत्री बनने में ज्यादा दिलचस्पी नहीं है। मैं सिर्फ काम करना चाहता हूं।

भाजपा सरकार में हरक सिंह रावत पहले ही दिन से असहज नजर आ रहे थे।  लेकिन अंतिम साल में उन्होंने अपने बयानों और मेल मुलाकातों से भाजपा को ही असहज करके रखा हुआ था। अब चुनाव की नामांकन प्रक्रिया शुरु होने से चंद घण्टे पहले उनकी कांग्रेस में वापसी की प्रबल संभावना को देखते हुए आखिरकार भाजपा को आखिरकार उनसे अपने रिश्ते फिर से परिभाषित करने पड़ गए हैं।

कैबिनेट मंत्री डॉ हरक सिंह रावत पिछले पाँच सालों से बार बार भारतीय जनता पार्टी के अनुशासन की मखौल उड़ा रहे थे। यही कारण रहा कि अब कांग्रेस में जाने की चर्चाओं के बीच भाजपा को उनके खिलाफ सख्त कदम उठाने को मजबूर होना पड़ा। दरअसल डॉ हरक सिंह रावत पिछले पांच सालों में कई बार पार्टी के लिए असहज स्थिति पैदा कर चुके थे। डॉ हरक सिंह रावत को लेकर भाजपा के ग्रास रुट कार्यकर्ताओं में पहले से ही नाराजगी थी। उनके साथ ही कॉंग्रेस से आये नेताओ को पार्टी में ज्यादा ही तवज्जो दिए जाने से पार्टी में अंदरखाने खासी नाराजगी थी।

आम कार्यकार्ता बाहर से आए नेताओं को कभी भी तवज्जो नहीं चाहते थे। इसके बावजूद डॉ हरक सिंह रावत और उनके सहयोगी पार्टी को पांच सालों तक चलाते रहे। भाजपा नेतृत्व ने हर सम्भव कोशिश की की हरक सिंह रावत को पार्टी से जोड़ा रखा जाए लेकिन अब पानी सर से ऊपर होने और उनके कांग्रेस में शामिल होने के निर्णय के बाद पार्टी को उनके खिलाफ कदम उठाना पड़ा।
बहू के लिए टिकट मांग दिखा रहे थे बागी तेवर
लैंसडोन से बहू अनुकृति गुसाईं के लिए टिकट की मांग को लेकर कैबिनेट मंत्री हरक सिंह रावत लगातार बागी तेवर अपनाए हुए थे। भाजपा कोर कमेटी की बैठक में पहुंचने की बजाय दिल्ली के चक्कर काट रहे थे। पार्टी पर लगातार दबाव बनाए हुए थे। हरक सिंह रावत हमेशा दबाव की राजनीति के लिए जाने जाते रहे हैं।वह भाजपा पर लगातार हर बार किसी न किसी चीज के लिए दबाव बनाए हुए थे। पहले उन्होंने कोटद्वार मेडिकल कालेज के नाम पर कैबिनेट मंत्री पद से इस्तीफा देने की धमकी देकी र भाजपा को असहज किया।

भाजपा का कड़ा संदेश
भाजपा के इस फैसले के अनुशासन के लिहाज से कड़ा संदेश माना जा रहा है। पिछले काफी समय से हरक बगावती तेवर अपनाए हुए थे। पिछले दिनों कैबिनेट बैठक में इस्तीफे की धमकी दे चुके रावत लगातार कांग्रेस नेताओं के संपर्क में भी थे। हरक के आगे हर बार घुटने टेकने से खुद भाजपा के भीतर पसंद नहीं किया जा रहा था। हरक को बर्खास्त कर भाजपा ने साफ कर दिया है कि अब वो किसी दबाव में आने वाली नहीं है।

उत्तराखंडः भारतीय जनता पार्टी ने कबीना मंत्री डॉ हरक सिंह रावत को पार्टी से निकाला, मंत्रिमंडल से भी किया बर्खास्त

उत्तराखंड में विधानसभा चुनाव से पहले भारतीय जनता पार्टी ने कबीना मंत्री डॉ हरक सिंह रावत पर बड़ी कार्रवाई की है। सूत्रों के मुताबिक, मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने हरक सिंह रावत को उत्तराखंड मंत्रिमंडल से बर्खास्त करने की सिफारिश राज्यपाल को भेजी है। इसके अलावा बीजेपी ने भी उन्हें 6 साल के लिए पार्टी से निष्काषित कर दिया।

भाजपा मीडिया प्रभारी मनवीर चौहान ने प्रदेश अध्यक्ष मदन कौशिक के हवाले से बताया है कि अनुशासनहीनता के कारण डॉ हरक सिंह को पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से छह वर्ष के लिए निष्कासित किया गया है। उन्होंने कहा कि पार्टी में अनुशासनहीनता को स्वीकार नहीं किया जाएगा।

हरक सिंह रावत ने पार्टी से दो टिकट मांगे थे, पार्टी ने टिकट देने से इनकार कर दिया था, जिसके बाद पार्टी विरोधी बयानों को लेकर हरक सिंह रावत चर्चा में आ गए थे। हरक सिंह लैंसडाउन से अपनी पुत्र वधू अनुकृति गुसाईं के लिए टिकट की पैरवी कर रहे थे।लैंसडाउन से विधायक दिलीप रावत इसके विरोध में थे, जिस पर पार्टी ने भी हरक सिंह की मांग को मानने से इनकार दिया था।

हरक सिंह रावत के रविवार की शाम दिल्ली जाने और कांग्रेस में शामिल होने की चर्चा थी। उनके साथ अन्य विधायक की भी दिल्ली में होना बताया जा रहा है, जो कांग्रेस से भाजपा में आए थे।

हरक सिंह रावत कई मौकों पर बगावती तेवर दिखा चुके हैं। वे 2016 में कांग्रेस को छोड़कर ही भाजपा में आये थे। पार्टी में शामिल होने के बाद भी कई बार उनकी नेतृत्व से तकरार देखने को मिली थी।

उत्तराखंड में कांग्रेस ने पूर्व प्रदेश अध्यक्ष किशोर उपध्याय को चुनाव संबंधित समितियों समेत सभी पदों से हटाया गया , बीजेपी नेताओं से संपर्क का आरोप 

उत्तराखंड में विधानसभा चुनाव शुरू होते ही राजनीतिक गहमा गहमी तेज हो गई।उत्तराखंड में कांग्रेस पार्टी कांग्रेस की ओर से पूर्व प्रदेश अध्यक्ष पर कार्रवाई की गई है। पार्टी विरोधी गतिविधियों के चलते कांग्रेस ने पूर्व प्रदेश अध्यक्ष किशोर उपाध्याय को सभी पदों से हटा दिया है। उनको लेकर पिछले कुछ दिनों से बीजेपी नेताओं के संपर्क में होने की चर्चाएं चल रही थीं। किशोर उपाध्याय पिछले कई दिनों से बीजेपी नेताओं के संपर्क में हैं। इसके लिए उन्हें पार्टी की तरफ से लगातार कई वॉर्निंग भी दी गई थी। बावजूद इसके वो अभी भी बीजेपी नेताओं से मिल रहे थे।

प्रदेश कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष किशोर उपाध्याय ने चार जनवरी की रात भाजपा के प्रदेश महामंत्री संगठन अजेय कुमार से मुलाकात की थी। इस दौरान वहां केंद्रीय मंत्री एवं भाजपा के चुनाव प्रभारी प्रल्हाद जोशी भी मौजूद थे। इस मुलाकात के बाद किशोर उपाध्याय के भाजपा में जाने की चर्चाएं तेज हो गईं थीं।

किशोर उपाध्याय ने अटकलों को किया खारिज हालांकि किशोर उपाध्याय ने बीजेपी में जाने की खबरों को सिर्फ अफवाह करार दिया था और इन्हें खारिज कर दिया था। उन्होंने कहा था कि वो अपने वनाधिकार आंदोलन को लेकर अलग-अलग नेताओं से मुलाकात कर रहे थे, क्योंकि वह चाहते थे कि उत्तराखंड में आगामी विधानसभा चुनाव पहाड़ी राज्य की चिंताओं पर लड़ा जाए।

किशोर उपाध्याय ने कहा था कि ऐसी अफवाहों पर ध्यान नहीं दिया जाए कि मैं बीजेपी में जा रहा हूं। भले ही किशोर उपाध्याय ने इन खबरों को खारिज कर दिया हो, लेकिन चुनावी मौसम में भाजपा नेताओं के साथ उनकी मुलाकात राज्य के सियासी पारे को बढ़ा चुकी है।

कांग्रेस के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष किशोर उपाध्याय और पूर्व सीएम हरीश रावत के बीच भी कई तरह के मतभेद चल रहे थे। उनकी गतिविधियों को देखते हुए बुधवार को कांग्रेस ने पूर्व प्रदेश अध्यक्ष किशोर उपाध्याय को चुनाव संबंधित समितियों समेत सभी पदों से हटा दिया है। इस संबंध में प्रदेश प्रभारी देवेंद्र यादव ने आदेश जारी कर दिया है। इस कार्रवाई के बाद कांग्रेस के भीतर हलचल तेज हो गई है।संगठन की ओर से भी पार्टी के प्रति निष्ठा से काम न करने वालों को सचेत कर दिया गया है।

उत्तराखंड में पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत अपने बागी तेवर दिखाकर पहले ही कांग्रेस की मुश्किलें बढ़ा चुके हैं। पिछले महीने हरीश रावत ने ट्विटर पर लगातार कई सारे ट्वीट किए थे, जिसमें उन्होंने बागी तेवर दिखाए थे। हालांकि बाद में उन्होंने अपने ट्वीट पर सफाई दी थी और कहा था कि वो कांग्रेस में ही हैं और रहेंगे। हालांकि हरीश रावत के ट्वीट को लेकर ये भी कहा गया था कि वो राजनीति से संन्यास ले सकते हैं।

हरीश रावत ने सरकार पर लगाया चुनाव आचार संहिता के उल्लंघन का आरोप, आचार संहिता के बाद हो रहे ट्रांसफर-पोस्टिंग

पूर्व मुख्यमंत्री व प्रदेश कांग्रेस चुनाव अभियान समिति के अध्यक्ष हरीश रावत ने सरकार पर चुनाव आचार संहिता के उल्लंघन का आरोप लगाया। उन्‍होंने कहा बैकडेट पर तबादले और राजनीतिक नियुक्तियां की गईं। चुनाव आयोग से शिकायत की गई। उन्‍होंने आबकारी व तबादलों में भ्रष्टाचार का आरोप लगाया।

आचार संहिता लागू होने के बाद गंभीर सवाल उठाते हुए कांग्रेस नेता और पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने ट्वीट कर कहा- ‘मैं इलेक्शन कमीशन उत्तराखंड के संज्ञान में लाना चाहता हूंँ, ये उत्तराखंड सचिवालय में क्या हो रहा है? आचार संहिता लगने के बाद भी बैक डेट में ट्रांसफर्स हो रहे हैं। प्रवक्ताओं और शिक्षकों के पदों पर बड़ी मात्रा में RSS से जुड़े हुए लोगों के ट्रांसफर्स हुये हैं।’

हरीश रावत के इस आरोप के बाद उत्तराखंड में बीजेपी सरकार पर सवाल उठने लगे हैं। सीएम पुष्कर सिंह धामी को कांग्रेस सीधे निशाने पर ले रही है। कांग्रेस ने इसको लेकर चुनाव आयोग से कार्रवाई करने की मांग की है। कांग्रेस का कहना है कि चुनाव आदर्श आचार संहिता का उल्लंघन करना कानूनी रूप से गलत है और इस पर कार्रवाई की जानी चाहिए। बैक डेट में सरकार की तरफ से लगातार कई विभागों में ट्रांसफर पोस्टिंग चल रही है।