भारतीय सैन्य अकादमी की पासिंग आउट परेड 11 दिसंबर को होगी। परेड की सलामी इस बार राष्ट्रपति राम नाथ कोविन्द लेंगे। । इस बार 319 भारतीय और 68 विदेशी कुल 387 जेंटलमैन कैडेट परेड में कदमताल करेंगे। आईएमए प्रशासन पीओपी की तैयारियों में जुटा है। राष्ट्रपति के आगमन को देखते हुए सुरक्षा व्यवस्था पर विशेष ध्यान दिया जा रहा है।
आगामी 11 दिसंबर को होने वाली इंडियन मिलिट्री एकेडमी(आईएमए) में पासिंग आउट परेड (पीओपी) की सलामी इस बार राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ले सकते हैं। हालांकि, अभी इसकी अधिकारिक पुष्टि नहीं हो पाई है। इधर, आईएमए में पीओपी की तैयारियां शुरू हो गई हैं। जैंटलमैन कैडेट्स रोजाना रिहर्सल में पसीना बहा रहे हैं। लंबे अंतराल के बाद इस बार पीओपी में जेंटलमैन कैडेट्स के परिजनों को आने की अनुमति मिल गई है।
आईएमए की जनसंपर्क अधिकारी लेफ्टिनेंट कर्नल हिमानी पंत ने बताया कि पीओपी से पहले तीन दिसंबर को ग्रेजुएशन सेरेमनी, आठ दिसंबर को कमांडेंट अवाॅर्ड सेरेमनी, 09 दिसंबर को कमांडेंट परेड, 10 दिसंबर को मल्टीएक्टीविटी डिस्प्ले व साउंड व लाइट शो का आयोजन किया जाएगा। इसके बाद 11 दिसंबर को मुख्य परेड का आयोजन किया जाएगा। परेड में बतौर रिव्यूंग अफसर राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद परेड की सलामी लेंगे। पीओपी को लेकर आईएमए प्रशासन ने तैयारियां लगभग पूरी कर ली है।
आईएमए की जनसंपर्क अधिकारी लेफ्टिनेंट कर्नल हिमानी पंत ने बताया कि कोविड-19 प्रोटोकॉल के दृष्टिगत पूर्व में पीओपी को सीमित दायरे में आयोजित किया जा रहा था। लेकिन इस बार जैंटलमैन कैडेट्स के परिजनों को अनुमति दी जा रही है। हालांकि मीडिया कवरेज का दायरा सीमित रखा गया है। पीओपी कार्यक्रम घर बैठे देखा जा सकेगा।कोरोना संक्रमण को देखते हुए पिछले जून में हुए पासिंग आउट परेड में परिजनों को परेड में आमंत्रित नहीं किया गया था। लेकिन इस बार आईएमए प्रशासन ने परिजनों को भी पीओपी में शामिल होने की अनुमति दे दी है। पिछले बार परिजनों के शामिल न होने से सैन्य अफसरों और उनके परिजनों ने जेंटलमैन केडेट्स के कंधों पर पीप्स, सितारे सजाए थे, लेकिन इस बार परिजन अपने लाडलों के कंधों पर पीप्स सजाएंगे। हालांकि इस दौरान कोविड गाइड लाइन का पूरा ख्याल रखा जाएगा।
इसके लिए परेड का लाइव प्रसारण किया जाएगा। उधर, भारतीय सैन्य अकादमी में परेड़ के लिए तमाम तैयारियां की जा रही है। आईएमए की ऐतिहासिक चैटवुड बिल्डिंग के समीप फाइनल परेड की रिहर्सल चल रही है। आईएमए पीओपी को लेकर देहरादून जिला प्रशासन और देहरादून पुलिस सहित एलआईयू भी अलर्ट मोड पर आया गया है। पीओपी को लेकर यातायात पुलिस की ओर से ट्रैफिक डायवर्जन प्लान भी तैयार किया गया है।
भारतीय सैन्य अकादमी की स्थापना 1932 में हुई थी।भारतीय सैन्य अकादमी (आइएमए) की स्थापना को 89 साल हो चुके हैं।पहले बैच में 40 जेंटलमैन कैडेट्स शामिल थे। पहले बैच 1934 में पासआउट हुआ था। भारतीय सैन्य अकादमी अब तक देश और दुनिया को 62 हजार से ज्यादा सैन्य अफसर दे चुकी है। इसमें 2,500 विदेशी सैन्य अफसर भी शामिल हैं।