कोटद्वार में मेडिकल कालेज के लिए पांच करोड़ मंजूर जल्द जारी होगा शासनादेश, हरक सिंह रावत नहीं देंगे इस्तीफा

मुख्यमंत्री धामी ने देर रात हरक सिंह रावत से बात की। कैबिनेट मंत्री और शासकीय प्रवक्ता सुबोध उनियाल के मुताबिक हरक की नाराजगी को दूर कर लिया जाएगा। वहीं सूत्रों की मानें तो हरक सिंह रावत को मना लिया गया है।

उत्तराखंड सरकार में कैबिनेट मंत्री हरक सिंह रावत के इस्तीफा देने की सूचना आ रही है। कैबिनेट मंत्री हरक सिंह रावत के विशेष कार्याधिकारी नरेंद्र सेमवाल के अनुसार हरक सिंह रावत कोटद्वार मेडिकल कॉलेज के मंजूरी के प्रस्ताव को कैबिनेट में न लाए जाने से नाराज़ हैं।

उत्तराखंड के कैबिनेट मंत्री हरक सिंह रावत इस्तीफा नहीं देंगे। भाजपा प्रदेश अध्यक्ष मदन कौशिक के अनुसार हरक सिंह रावत नाराज नहीं हैं और इस्तीफे का सवाल ही नहीं बनता। वहीं, विधायक उमेश शर्मा काऊ ने भी इस बात का दावा किया है। उन्होंने कहा कि कोटद्वार में मेडिकल कालेज के लिए जल्द शासनादेश जारी होगा।

भाजपा सरकार में कैबिनेट मंत्री हरक सिंह रावत के इस्तीफे की चर्चाओं के बीच रायपुर विधायक उमेश शर्मा काऊ ने कहा है कि हरक की नाराजगी मेडिकल कॉलेज को लेकर थी जो अब दूर हो गई है। शनिवार की सुबह उमेश शर्मा काऊ मीडिया से मुखातिब हुए। उन्होंने बताया कि हरक सिंह रावत की नाराजगी दूर हो गई है। 

विधायक काऊ के अनुसार पार्टी के केंद्रीय नेतृत्व के निर्देश पर उन्होंने बीती रात मंत्री रावत से बातचीत की। इस दौरान डा रावत की पार्टी के केंद्रीय नेताओं और मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी से फोन पर बात कराई गई। मुख्यमंत्री ने कोटद्वार मेडिकल कालेज के जल्द शासनादेश जारी करने का आश्वासन दिया। बता दें कि शुक्रवार को उन्होंने इस्तीफे की धमकी देकर कैबिनेट बैठक छोड़ दी थी। वे कोटद्वार मेडिकल कालेज से संबंधित प्रस्ताव कैबिनेट में नहीं लागने से नाराज बताए जा रहे थे।

कैबिनेट मंत्री हरक सिंह रावत त्यागपत्र का धमाका कर अंडर ग्राउंड हो गए। उनके कुछ समर्थक उनके इस्तीफे का दावा करते दिखे, लेकिन आधिकारिक रूप से किसी ने भी पुष्टि नहीं की। राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा के देहरादून दौरे से ठीक दो दिन पहले हरक के इस्तीफे की खबर ने दून से दिल्ली तक भाजपा में हडकंप मचा दिया था। देर रात सियासी हलकों में चर्चा तैरी कि केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने डॉ. हरक सिंह रावत से फोन बात की।

सूत्रों के मुताबिक, हरक सिंह का पीछा करते हुए मीडियाकर्मियों ने उनके यमुना कालोनी स्थित सरकारी आवास पर डेरा जमाया लेकिन हरक वहां नहीं पहुंचे। डिफेंस कालोनी स्थित आवास में भी वह नहीं मिले। मीडिया को जहां-जहां भी उनके उपलब्ध होने की संभावना था, वहां-वहां निराशा हाथ लगी। कैबिनेट बैठक से बाहर निकलने के बाद हरक ने अपना मोबाइल फोन स्विच ऑफ कर दिया था। उनके करीबी माने जाने वाले विजय सिंह चौहान ने कहा था कि हरक सिंह ने इस्तीफा दे दिया है। कैबिनेट ब्रीफिंग में पहुंचे शासकीय प्रवक्ता सुबोध उनियाल ने हरक सिंह की नाराजगी पुष्टि तो की, लेकिन इस्तीफे से जुड़े सवाल को वह टाल गए।

उधर, मीडिया में हरक के इस्तीफे की खबर ने भाजपा में हड़कंप मचा दिया। दिल्ली से लेकर दून तक फोन घनघनाने लगे। मीडिया से इस्तीफे की पुष्टि करने का प्रयास होता रहा। संपर्क करने पर पार्टी के प्रदेश महामंत्री कुलदीप कुमार ने कहा कि हरक सिंह ने कोई इस्तीफा नहीं दिया। उन्होंने पार्टी विधायक उमेश शर्मा के इस्तीफे की खबर को सिरे से खारिज किया। 

पूर्व केंद्रीय शिक्षा मंत्री डॉ. रमेश पोखरियाल निशंक भी हरकत में आ गए। उन्होंने भाजपा विधायक उमेश शर्मा काऊ से बात की। पार्टी के प्रदेश मीडिया प्रभारी मनवीर सिंह चौहान ने बताया कि पार्टी विधायक काऊ ने डॉ. निशंक को आश्वस्त किया कि उन्होंने पार्टी से इस्तीफा नहीं दिया है। वह भाजपा के सच्चे सिपाही हैं।

इस्तीफे की खबरें टीवी चैनलों की सुर्खी बनने के बाद खबर आई कि केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने हरक सिंह रावत से संपर्क करने का प्रयास किया। लेकिन उनका फोन स्विच ऑफ था। चर्चा है कि शाह ने पार्टी विधायक उमेश शर्मा काऊ के माध्यम से हरक सिंह रावत से बात की और उनकी हर समस्या के समाधान का भरोसा दिया।

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