सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई शुरू, नीट परीक्षा विवाद पर होगा निर्णय

News web media Uttarakhand  :  नीट पेपर लीक मामले में 38 याचिकाएं सुप्रीम कोर्ट पहुंच चुकी हैं. उनमें से ज्यादातर याचिकाएं नीट यूजी परीक्षा को रद्द करने की मांग वाली हैं. चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया डीवाई चंद्रचूड़ की अध्यक्षता वाली बेंच आज उन याचिकाओं पर सुनवाई कर रही है. केंद्र सरकार ने शुक्रवार को सुप्रीम कोर्ट में दायर हलफनामे में नीट-यूजी परीक्षा रद्द करने का विरोध किया था. केंद्र सरकार ने अपने हलफनामे में कहा था कि परीक्षा रद्द होने से उन लाखों छात्रों को नुकसान होगा जिन्होंने ईमानदारी से परीक्षा दी थी.

नीट मामले पर सुप्रीम कोर्ट की सुनवाई में निम्नलिखित मुद्दों पर कहा है

  • चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया ने कहा कि परीक्षा की पवित्रता प्रभावित हुई है यह तो स्पष्ट है. अगर परीक्षा वाले दिन ही बच्चों को पेपर मिला था और उसे याद किया गया इसका मतलब पेपर केवल स्थानीय स्तर पर ही लीक हुआ था, लेकिन अगर हमें यह पता नहीं चलता कि कितने स्टूडेंट इसमें शामिल थे, तब दोबारा परीक्षा का आदेश देना पड़ेगा.
  • चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया ने कहा कि आप जानते हैं कि हम यह क्यों पूछ रहे हैं? यदि हम इस निष्कर्ष पर पहुंचते हैं कि लीक और परीक्षा के बीच समय अंतराल अधिक नहीं था तो यह दोबारा परीक्षा के लिए प्रतिकूल है और यदि समय अंतराल व्यापक है तो यह दर्शाता है कि लीक व्यापक था. यदि पवित्रता प्रभावित होती है तो पुनः परीक्षण करना पड़ता है, लेकिन यह ध्यान रखना होगा कि 24 लाख छात्रों की दोबारा परीक्षा होना मुश्किल है. अगर हम देखें कि यह लीक सोशल मीडिया पर था तो यह बेहद व्यापक है. अगर यह टेलीग्राम व्हाट्सएप के माध्यम से है तो यह जंगल की आग की तरह फैल गया होगा.
  • चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया ने एनटीए को पेपर प्रिंटिंग से लेकर परीक्षा कक्ष तक पहुंचाने की प्रक्रिया से संबंधित 11 सवालों पर जवाब देने को कहा है. उन्होंने कहा कि हम यह जनना चाहते हैं कि पेपर लीक की टाइमलाइन और पेपर के बीच के अंतराल कितना है. 23 लाख से ज्यादा छात्र हैं और बड़े पैमाने पर अगर इसमें गड़बड़ी है तो हमें पेपर रद्द करना होगा.
  • चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया ने पूछा बैंक लॉकर में पेपर कब भेजे गए, क्या समय था परीक्षा का? एनटीए के वकील ने कहा कि 5 मई, दोपहर 2 बजे. देश में 4700 और 15 केंद्र विदेश में बनाए गए थे. इस परीक्षा में 24 लाख कैंडिडेट बैठे. चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया ने पूछा विदेश कैसे भेजे गए? एनटीए ने कहा कि एंबेसी के जरिए. चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया ने पूछा देश में किसी अधिकारी के जरिए या किस तरह शहरों में पेपर भेजे गए? एनटीए ने कहा हम जानकारी करके बताते हैं.
  • चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया ने पूछा कि यह कैसे कहा जा सकता है कि पूरी परीक्षा में गड़बड़ हुई है?
  • चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया ने कहा कि तो प्रश्नपत्र का लीक होना एक स्वीकृत तथ्य है. इस पर एसजी ने कहा कि पटना में एक जगह जहां अपराधी को गिरफ्तार किया गया है और जो छात्र लाभार्थी थे उनके परिणाम रोक दिए गए हैं.
  • याचिकाकर्ता के वकील ने कहा कि बिहार पुलिस ने ग्रुप्स ऑफ कैंडिडेट की पुष्टि की थी. इसमें काफी कुछ ऐसा है जो अभी तक सामने नहीं आया, ऐसे में परीक्षा रद्द कर फिर से कराया जाना ही एक विकल्प है. एनटीए का कहना है कि ये सब छोटे स्तर पर हुआ. इसकी जांच सीबीआई कर रही है, जबकि मामले में 6 एफआईआर हुईं और अब चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया जांच कर रही है. यह पेपर लीक कहां तक है, जबकि पटना, दिल्ली, महाराष्ट्र, गुजरात, झारखंड और राजस्थान तक सामने आया है.
  • याचिकाकर्ता के वकील ने कहा कि बिहार पुलिस ने ग्रुप्स ऑफ कैंडिडेट की पुष्टि की थी. इसमें काफी कुछ ऐसा है जो अभी तक सामने नहीं आया, ऐसे में परीक्षा रद्द कर फिर से कराया जाना ही एक विकल्प है.
  • उन्होंने कहा कि परीक्षा की साख से समझौता किया गया है. अगर प्रणालीगत स्तर पर धोखाधड़ी की साजिशों के लाभार्थियों को बेदाग लोगों से अलग नहीं किया जा सकता है तो इस अदालत ने पहले एक फैसले में माना है कि एक भी उम्मीदवार को अनुचित तरीकों से प्रवेश की अनुमति नहीं दी जाएगी.
  • छात्रों के वकील ने कहा कि कुल 6 FIR बिहार, दिल्ली, गुजरात, महाराष्ट्र, राजस्थान और झारखंड में हुई हैं. अब चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया जांच कर रही है, लेकिन परीक्षा की साख नहीं रह गई. एनटीए ने मानक एसओपी का पालन नहीं किया है, यह बड़े पैमाने पर है और प्रणालीगत स्तर पर है. एनटीए का कहना है कि अभी तक वे निश्चित नहीं हैं कि गलती प्रणालीगत स्तर पर है या नहीं.
  • चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया ने कहा कि आपके मुताबिक पूरी परीक्षा रद्द किया जाना ही हल है. एसजी ने कहा कि मान लीजिए मुझे गलत पेपर मिल गया तो दूसरा दिया जा सकता है. परीक्षकों को भी नहीं पता था कि पेपर एसबीआई में हैं या केनरा में, कोई आकस्मिक पेपर नहीं है. गलत पेपर दे दिया गया इसलिए सही बांट दिया गया बाद में, इनमें से कुछ केंद्रों पर 30 मिनट अतिरिक्त दिए गए. वकील ने कहा लेकिन 1563 में अनुग्रह अंकों के साथ 6 छात्र ऐसे थे जिन्होंने पूर्ण अंक प्राप्त किए. चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया ने कहा कि ठीक है 1563 में से 6 को पहले पूरे अंक मिले, दोबारा परीक्षण के बाद नहीं.
  • चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया ने बड़ी टिप्पणी करते हुए पूछा आखिर हमें बताएं कि री-टेस्ट क्यों जरूरी है? इस पर याचिकाकर्ता के वकीलों ने कहा कि परीक्षा लीक हुई. पूरा सिस्टम फेल हुआ. साख खत्म हो गई परीक्षा की, गलत हुआ है.
  • उन्होंने कहा कि बिहार पुलिस को संगठित अपराध के सबूत मिले हैं. मैंने नीचे एक टेबल दी है. 2021 में केवल तीन उम्मीदवारों को पूरे 720 अंक मिले थे. 2020 में केवल एक उम्मीदवार था. इस बार इतिहास में 67 छात्रों को पूरे अंक मिले. सीजेआई ने कहा कि 67 में से कितनों को ग्रेस मार्क्स मिले? क्या यह कहना सही है कि 1563 छात्र उस केंद्र से उपस्थित हुए जहां प्रश्नपत्रों का गलत सेट वितरित किया गया था?
  • वकील ने कहा कि जो पेपर इस्तेमाल किया जाना था वह चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया ( तिजोरी) में था और जो आकस्मिक योजना के तौर पर रखा जाना था वह केनरा बैंक में था. लीक होने के बाद एनटीए ने कहा कि इस्तेमाल होने वाला प्रश्न केनरा बैंक से है और इससे समय की हानि हुई भी.
  • छात्रों के वकील ने कहा कि परीक्षा से ठीक एक दिन पहले 4 मई को एक टेलीग्राम चैनल ने खुलासा किया कि यह प्रश्न पत्र है और ये उत्तर हैं. 5 मई को परीक्षा थी.
  • सीनियर वकील ने कहा कि हम इस परीक्षा को रद्द करने की मांग कर रहे हैं. 9 फरवरी को परीक्षा के लिए ऑनलाइन आवेदन जारी किया गया था और परिणाम 14 जून को था. इसे पहले ही स्थगित कर 4 जून किया गया. कुछ घोटालेबाजों ने परीक्षा के प्रश्नपत्र मांगे और 5 मई को परीक्षा हुई, इस तरह घोटाला हुआ.
  • याचिकाकर्ता छात्रों के वकीलों ने कहा कि हम चाहते हैं कि नीट-यूजी की परीक्षा रद्द कर दी जाए.
  • अब सुप्रीम कोर्ट लंच के बाद सुनवाई करेगा. बैंच सुनवाई के लिए 2 बजे बैठेगी.
  • चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया ने कहा कि हम सभी वकीलों की दलील नहीं सुन सकते. सिर्फ कुछ ही पक्ष रखें.
  • परीक्षा को रद्द न करने की मांग करने वाले गुजरात स्थित छात्रों की ओर से पेश वकील का उल्लेख किया गया है. चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया ने कहा कि कृपया मामले का निपटारा होने तक प्रतीक्षा करें.
  • NEET-UG परीक्षा मामले में सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई शुरू हो गई है. चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया डीवाई चंद्रचूड़ की अध्यक्षता वाली पीठ सुनवाई कर रही है.

केंद्र सरकार ने अपने हलफना में कहा है कि नीट का इम्तिहान होने के बाद कुछ गड़बड़ियां, धोखाधड़ी, चीटिंग के मामले कथित तौर पर सामने आए हैं. इन्हीं के चलते चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया को मामले की जांच करने का निर्देश दिया गया है. ऐसे में जब अभी तक ऐसे तथ्य सामने नहीं आए हैं जो इशारा करते हैं की देशभर में बड़े पैमाने पर गड़बड़ी या धोखाधड़ी हुई है. यह सही नहीं होगा कि पूरे एग्जाम को रद्द कर दिया जाए.

चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया ने आरोपों की जांच पहले ही शुरू कर दी है और 23 जून को जांच का जिम्मा संभालने के बाद इस मामले में कुछ गिरफ्तारियां भी की हैं. नीट परीक्षा में धांधली का विवाद बढ़ने के बाद केंद्र सरकार ने एक हाई लेवल कमेटी का गठन किया. इसमें इसरो के पूर्व अध्यक्ष और चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया कानपुर के बोर्ड ऑफ गवर्नर्स के अध्यक्ष डॉ. के. राधाकृष्णन भी शामिल हैं.

काउंसलिंग हो चुकी स्थगित

एनटीए ने 5 मई को परीक्षा आयोजित की थी और 6 जून को परिणाम घोषित किए गए थे. 8 जुलाई को निर्धारित सुनवाई से पहले NEET UG 2024 के लिए काउंसलिंग 6 जुलाई से शुरू होने वाली थी, लेकिन अधिकारियों ने सुप्रीम कोर्ट की सुनवाई के नतीजे की प्रतीक्षा में महीने के अंत तक काउंसलिंग को स्थगित कर दिया है. अभी तक नई तारीख का ऐलान नहीं किया गया है.

 

CLAT 2025: क्लैट परीक्षा 2025 के लिए 7 जुलाई को नोटिफिकेशन जारी होगा

News web media Uttarakhand  : कंसोर्टियम ऑफ नेशनल लॉ यूनिवर्सिटीज (सीएनएलयू) कॉमन लॉ एडमिशन टेस्ट (सीएलएटी) 2025 के लिए अधिसूचना 7 जुलाई को आधिकारिक वेबसाइट consortiumofnlus.ac.in पर जारी करेगा। सीएनएलयू से पाठ्यक्रम, आवेदन प्रक्रिया और परामर्श प्रक्रिया सहित परीक्षाओं के बारे में महत्वपूर्ण विवरण साझा करने की उम्मीद है। CNLU की आधिकारिक अधिसूचना में कहा गया है, “CLAT 2025 का विज्ञापन 7 जुलाई, 2024 को प्रिंट/इलेक्ट्रॉनिक मीडिया में प्रकाशित होने वाला है।” इससे पहले, CLAT 2025 परीक्षा की तारीखों की घोषणा मई में की गई थी, बयान के अनुसार, प्रवेश परीक्षा 1 दिसंबर, 2024 को आयोजित की जाएगी। परीक्षा दोपहर 2 से 4 बजे तक एक ही पाली में आयोजित की जाएगी। कॉमन लॉ एडमिशन टेस्ट (CLAT) भारत के 22 राष्ट्रीय कानून विश्वविद्यालयों में स्नातक और स्नातकोत्तर कानून कार्यक्रमों में प्रवेश के लिए एक राष्ट्रीय स्तर की प्रवेश परीक्षा है। परीक्षा का संचालन कंसोर्टियम ऑफ नेशनल लॉ यूनिवर्सिटीज द्वारा किया जाता है, जो राष्ट्रीय स्तर पर इन संस्थानों का प्रतिनिधित्व करता है। CLAT 2025: पात्रता मानदंड, CLAT UG 2025 के लिए आवेदन करने के लिए उम्मीदवारों को कम से कम 45 प्रतिशत अंकों के साथ 12वीं कक्षा उत्तीर्ण होना चाहिए। एससी/एसटी छात्रों के लिए 40 फीसदी अंक जरूरी है. साथ ही 12वीं कक्षा की परीक्षा में शामिल होने वाले उम्मीदवार भी आवेदन कर सकते हैं।
लाॅ प्रेप देहरादून के निदेशक एस.एन.उपाध्याय ने बताया कि बीते वर्ष इस परीक्षा से 23 एनएलयू जुड़े थे। इस साल एनएलयू अगरतला भी जुड़ा है। यानी इस बार 24 एनएलयू के लिए यह परीक्षा आयोजित की जा रही है। उन्होंने बताया कि प्रवेश परीक्षा में 120 मिनट में विद्यार्थियों को 120 प्रश्न हल करने होंगे। इसमें 24 प्रश्न अंग्रेजी, 24 प्रश्न लाजिकल रीजनिंग, 32 प्रश्न लीगल रीजनिंग, 28 प्रश्न सामान्य ज्ञान/सम-सामयिक व 12 प्रश्न अंक गणित के होंगे। प्रत्येक प्रश्न एक अंक का होगा। प्रत्येक गलत जवाब पर 1/4 अंक काट लिए जाएंगे। सामान्य व अन्य पिछड़ा वर्ग के लिए चार हजार और एससी-एसटी व बीपीएल वर्ग को 3500 रुपये पंजीकरण शुल्क देना होगा।

एनसीईआरटी किताब से हटा बाबरी मस्जिद का नाम, जोड़े गए ये नए टॉपिक

News web media Uttarakhand : एनसीईआरटी की 12वीं क्लास की पॉलिटिकल साइंस की नई रिवाइज्ड किताब मार्केट में आ चुकी है. इस किताब में काफी ज्यादा बदलाव देखने को मिले हैं. सबसे बड़ा बदलाव अयोध्या विवाद के टॉपिक को लेकर हुआ है, जहां किताब में बाबरी मस्जिद का जिक्र ही नहीं किया गया है. मस्जिद का नाम लिखने की जगह उसे ‘तीन गुंबद वाली संरचना’ बताया गया है. अयोध्या विवाद के टॉपिक को चार की जगह दो पेज में कर कर दिया है.

एक अंग्रेजी अख़बार की रिपोर्ट के मुताबिक, अयोध्या विवाद की जानकारी बताने वाले पुराने वर्जन भी हटा दिए गए हैं. इसमें गुजरात के सोमनाथ से अयोध्या तक बीजेपी की रथयात्रा; कारसेवकों की भूमिका; 6 दिसंबर, 1992 को बाबरी मस्जिद के विध्वंस के बाद सांप्रदायिक हिंसा; बीजेपी शासित राज्यों में राष्ट्रपति शासन; और बीजेपी का अयोध्या में होने वाली घटनाओं पर खेद जताना शामिल है. ऐसे में आइए जानते हैं कि इस बार राजनीति विज्ञान की किताब में कौन से प्रमुख बदलाव हुए हैं.

12वीं क्लास की पॉलिटिकल साइंस की पुरानी किताब में बाबरी मस्जिद का परिचय मुगल सम्राट बाबर के जनरल मीर बाकी द्वारा निर्मित 16वीं शताब्दी की मस्जिद के रूप में किया गया. अब नई किताब में दिए चैप्टर में इसके बारे में कुछ इस तरह से जिक्र किया गया है, “एक तीन-गुंबद वाली संरचना, जो साल 1528 में श्री राम के जन्मस्थान स्थल पर बनाई गई थी, लेकिन संरचना के आंतरिक और बाहरी हिस्सों में हिंदू प्रतीकों और अवशेषों को साफ देखा जा सकता था.”

दो पन्नों से ज्यादा में अयोध्या विवाद का जिक्र करने वाली पुरानी किताब में फैजाबाद (अब अयोध्या) जिला अदालत के आदेश पर फरवरी 1986 में मस्जिद के ताले खोले जाने के बाद ‘दोनों तरफ से’ लामबंदी के बारे में बात की गई थी. इसमें सांप्रदायिक तनाव, सोमनाथ से अयोध्या तक आयोजित रथ यात्रा, दिसंबर 1992 में राम मंदिर के निर्माण के लिए स्वयंसेवकों द्वारा की गई कार सेवा, मस्जिद का विध्वंस और उसके बाद जनवरी 1993 में हुई सांप्रदायिक हिंसा का जिक्र किया गया था. पुरानी किताब में बताया गया कि कैसे बीजेपी ने अयोध्या में हुई घटनाओं पर खेद व्यक्त किया और धर्मनिरपेक्षता पर गंभीर बहस का उल्लेख किया.

ऊपर बताई गई बातों को एक नए पैराग्राफ के साथ नई किताब में रिप्लेस किया गया है. नई किताब में लिखा गया है, “1986 में, तीन-गुंबद वाली संरचना के संबंध में एक महत्वपूर्ण मोड़ आया, जब फैजाबाद (अब अयोध्या) जिला अदालत ने संरचना के ताले को खोलने का फैसला सुनाया, जिससे लोगों को वहां पूजा करने की इजाजत मिली. यह विवाद कई दशकों से चल रहा था क्योंकि ऐसा माना जाता था कि तीन गुंबद वाली संरचना एक मंदिर को ध्वस्त करने के बाद श्री राम के जन्मस्थान पर बनाई गई थी.”

इसमें आगे लिखा गया है, “हालांकि, मंदिर का शिलान्यास किया गया था, फिर भी आगे निर्माण पर पाबंदी रही. हिंदू समुदाय को लगा कि श्री राम के जन्मस्थान से संबंधित उनकी चिंताओं को नजरअंदाज कर दिया गया है, जबकि मुस्लिम समुदाय ने संरचना पर अपने कब्जे को लिए आश्वासन मांगा. इसके बाद स्वामित्व अधिकारों को लेकर दोनों समुदायों के बीच तनाव बढ़ा, जिसकी वजह से विवाद और कानूनी संघर्ष देखने को मिले. दोनों समुदाय लंबे समय से चले आ रहे मुद्दे का निष्पक्ष समाधान चाहते थे. 1992 में ढांचे के विध्वंस के बाद कुछ आलोचकों ने तर्क दिया कि इसने भारतीय लोकतंत्र के सिद्धांतों के लिए एक बड़ी चुनौती पेश की.”

नई किताब में सुप्रीम कोर्ट के अयोध्या फैसले का भी हुआ जिक्रराजनीति विज्ञान की किताब के नए वर्जन में अयोध्या विवाद पर सुप्रीम कोर्ट के फैसले पर एक सब-सेक्शन जोड़ा गया है. इसका शीर्षक- ‘कानूनी कार्यवाही से सौहार्दपूर्ण स्वीकृति तक’ है. इसमें कहा गया है कि किसी भी समाज में संघर्ष होना स्वाभाविक है, लेकिन एक बहु-धार्मिक और बहुसांस्कृतिक लोकतांत्रिक समाज में इन संघर्षों को आमतौर पर कानून की पालन करते हुए हल किया जाता है. किताब में आगे अयोध्या विवाद पर 9 नवंबर 2019 को सुप्रीम कोर्ट की संवैधानिक पीठ के 5-0 के फैसले का जिक्र है. उस फैसले ने मंदिर निर्माण के लिए रास्ता तैयार किया. इस साल ही मंदिर का उद्घाटन किया गया है.

किताब में आगे लिखा गया है, “फैसले ने विवादित स्थल को राम मंदिर के निर्माण के लिए श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट को आवंटित कर दिया और संबंधित सरकार को सुन्नी सेंट्रल वक्फ बोर्ड को मस्जिद के निर्माण के लिए उचित स्थान आवंटित करने का निर्देश दिया. इस प्रकार, लोकतंत्र संविधान की समावेशी भावना को कायम रखते हुए हमारे जैसे बहुलवादी समाज में संघर्ष के समाधान के लिए जगह देता है.”

इसमें आगे लिखा गया है, “पुरातात्विक उत्खनन और ऐतिहासिक अभिलेखों जैसे साक्ष्यों के आधार पर कानून की उचित प्रक्रिया का पालन करते हुए इस मुद्दे को हल किया गया था. सुप्रीम कोर्ट के फैसले को समाज में बड़े पैमाने पर स्वीकार किया गया. यह एक संवेदनशील मुद्दे पर आम सहमति बनाने का एक बेहतरीन उदाहरण है, जो भारत में लोगों के बीच निहित लोकतंत्र की परिपक्वता को दर्शाता है.”

पुरानी किताब में विध्वंस के दौर के समय अखबार में लिखे आर्टिकल की तस्वीरें थीं, जिनमें 7 दिसंबर 1992 का एक आर्टिकल भी शामिल था. इसका शीर्षक था ‘बाबरी मस्जिद ध्वस्त, केंद्र ने कल्याण सरकार को बर्खास्त किया’. 13 दिसंबर, 1992 को छपे एक अखबार के आर्टिकल की एक हेडलाइन में पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी को यह कहते हुए कोट किया गया है, ‘अयोध्या बीजेपी की सबसे खराब गलतफहमी है.’ नई किताब में सभी अखबारों की कटिंग को हटा दिया गया है.

उत्तराखंड: सरकारी प्राथमिक विद्यालयों में सहायक अध्यापक के 3253 पदों पर भर्ती… डीएलएड वाले होंगे पात्र

News web media Uttarakhand : प्रदेश में सरकारी प्राथमिक विद्यालयों में सहायक अध्यापक के 3253 पदों पर भर्ती के लिए शिक्षा विभाग को चुनाव आयोग से मंजूरी मिल गई है। जिससे इन पदों पर भर्ती का रास्ता साफ हो गया है। इसमें 1,250 पद वर्ष 2018, 2020 एवं 2021 की रुकी भर्ती के हैं। भर्ती के लिए बीएड डिग्री को अमान्य करने के बाद केवल डीएलएड वाले ही इन पदों पर भर्ती के पात्र होंगे। शिक्षकों की भर्ती के लिए विभाग ने वर्ष 2018, 2020 एवं 2021 में 3099 पदों के लिए आवेदन मांगे थे।

उस दौरान शिक्षक भर्ती के लिए शैक्षिक योग्यता बीएड और डीएलएड को मान्य किया गया था, लेकिन बाद में शासन ने एनआईओएस से डीएलएड को भी मान्य कर दिया। कुछ समय बाद शासन ने एनआईओएस से डीएलएड मान्य वाला आदेश रद्द कर दिया, जिससे भर्ती विवादों में उलझ गई। इसके बाद सरकार ने बीएड अभ्यर्थियों को सहायक अध्यापक के पदों पर भर्ती के लिए अमान्य कर दिया है।

इसके लिए सेवा नियमावली 2012 में संशोधन किया गया है। हालांकि, इस संशोधन से पहले डीएलएड के साथ ही कुछ बीएड अभ्यर्थी 1849 पदों पर भर्ती हो चुके हैं। विभाग की ओर से अब पूर्व के अवशेष 1250 पदों के साथ ही वर्तमान में खाली 2033 पदों पर शिक्षकों की भर्ती करनी है।

रिजल्ट जारी, 11वें स्थान पर रहा देहरादून रीजन, छात्र यहां कर सकते हैं चेक

News web media Uttarakhand : सीबीएसई बोर्ड 10वीं और 12वीं का रिजल्ट घोषित हो गया है। छात्र आधिकारिक वेबसाइट पर जाकर अपना रिजल्ट देख सकतें हैं।

इस बार कक्षा 12वीं में 87.98% बच्चे पास हुए हैं। छात्र सीबीएसई बोर्ड रिजल्ट्स की आधिकारिक वेबसाइट results.cbse.nic.in पर जाकर अपना रिजल्ट चेक कर सकतें हैं। 12वीं देशभर के 17 रीजन में देहरादून रीजन 11वें स्थान पर रहा है। देहरादून रीजन का परिणाम 83.83 प्रतिशत रहा जो बीते वर्ष के मुकाबले तीन प्रतिशत तक बढ़ा है।

सीबीएसई के देहरादून रीजन में उत्तराखंड के सभी 13 जिलों के अलावा पश्चिमी उत्तर प्रदेश के आठ जिले बदायूं, बिजनौर, ज्योतिबा फूले नगर, मुरादाबाद, मुजफ्फरनगर, रामपुर, सहारनपुर व संभल शामिल हैं। बोर्ड के अधीन कई अटल उत्कृष्ट विद्यालय के छात्र-छात्राओं ने भी दूसरी बार बोर्ड परीक्षा दी है।

सीबीएसई बोर्ड 12वीं में लड़कियों का पास प्रतिशत 91.52 रहा। जबकि लड़कों का पास प्रतिशत 85.12 फीसदी रहा। लड़कों के मुकाबले 6.40 फीसदी ज्यादा लड़कियां पास हुई हैं। देश भर में त्रिवेंद्रम सबसे आगे है। यहां का पास प्रतिशत 99.91 है।

एसएससी सीएचएसएल का नोटिफिकेशन जारी, 3712 पदों पर होगी भर्ती, इस लिंक से करें आवेदन

News web media Uttarakhand : कर्मचारी चयन आयोग (एसएससी) ने संयुक्त उच्चतर माध्यमिक (10+2) स्तरीय परीक्षा या सीएचएसएल 2024 के लिए नोटिफिकेशन जारी कर दिया है। इच्छुक और  योग्य उम्मीदवार आयोग की आधिकारिक वेबसाइट, ssc.gov.in पर जाकर पंजीकरण कर सकते हैं। इस भर्ती के लिए आवेदन करने के इच्छुक उम्मीदवार 7 मई, 2024 तक आवेदन कर सकते हैं।
आपको बता दें की टियर I (कंप्यूटर आधारित परीक्षा) जून-जुलाई 2024 में आयोजित होने वाली है। टियर-2 की परीक्षा की तारीख का अभी ऐलान नहीं किया गया है। इस भर्ती अभियान के तहत 3712 रिक्तियों पर भर्ती की जाएगी। आवेदन विंडो बंद करने के बाद आयोग की ओर से सुधार विंडो 10 से 11 मई 2024 तक खुलेगी।

SSC CHSL 2024: आवेदन शुल्क

इस भर्ती अभियान के लिए जो भी उम्मीदवार आवेदन करना चाहते हैं, उनको आवेदन शुल्क का भुगतान करना होगा। आयोग की ओर से आवेदन शुल्क 100 रूपये निर्धारित किया गया है। महिला उम्मीदवारों और आरक्षण के लिए पात्र अनुसूचित जाति (एससी), अनुसूचित जनजाति (एसटी), बेंचमार्क विकलांग व्यक्तियों (पीडब्ल्यूबीडी) और पूर्व सैनिकों (ईएसएम) से संबंधित उम्मीदवारों को शुल्क के भुगतान से छूट दी गई है।

SSC CHSL 2024: आयु सीमा 

आवेदन करने के इच्छुक उम्मीदवार का आयु 18 से 27 वर्ष के बीच होनी चाहिए। ओबीसी को आयु सीमा में तीन वर्ष और एससी व एसटी को पांच वर्ष की छूट प्रदान की जाएगी।

SSC CHSL 2024: शैक्षणिक योग्यता 

शैक्षणिक योग्यता पद के अनुसार तय की गई है-
डाटा एंट्री ऑपरेटर (डीईओ, डीईओ ग्रेड ए – उपभोक्ता मामले, खाद्य और सार्वजनिक वितरण मंत्रालय, संस्कृति मंत्रालय) के लिए – साइंस स्ट्रीम से 12वीं पास
एलडीसी / जेएसए और डीईओ / डीईओ ग्रेड ए – किसी भी स्ट्रीम से 12वीं पास

SSC CHSL 2024: कैसे करें आवेदन? 

  • सबसे पहले उम्मीदवार आधिकारिक वेबसाइट ssc.gov.in पर जाएंगे।
  • उसके बाद रजिस्ट्रेशन लिंक पर क्लिक करें।
  • पोर्टल पर रजिस्टर करें और लॉग इन करें।
  • संबंधित पद के लिए आवेदन करें, दस्तावेज़ अपलोड करें और अंत में आवेदन शुल्क का भुगतान करें।
  • फॉर्म सबमिट करें और भविष्य के संदर्भ के लिए उम्मीदवार फोर्म का प्रिंटआउट निकाल सकते हैं।

8, 9, 12 अप्रैल की जेईई मेन परीक्षा का एडमिट कार्ड जारी; इस लिंक से तुरंत करें डाउनलोड

News web media Uttarakhand : राष्ट्रीय परीक्षण एजेंसी ने 08, 09 और 12 अप्रैल को होने वाली जेईई मेन परीक्षा के लिए एडमिट कार्ड जारी कर दिए हैं। जो भी उम्मीदवार इन दिनों पर होने वाली दूसरे सत्र की जेईई मेन परीक्षा में शामिल होंगे, वे आधिकारिक वेबसाइट jeemain.nta.ac.in पर जाकर अपना एडमिट कार्ड डाउनलोड कर सकते हैं।

परीक्षा की तिथियां और समय

बीई, बीटेक के लिए जेईई मेन परीक्षा 4, 5, 6, 8 और 9 अप्रैल को दो पालियों में आयोजित की जाएगी। सुबह की शिफ्ट का समय सुबह 9 बजे से दोपहर 12 बजे तक है, जबकि दोपहर की शिफ्ट का समय दोपहर 3 बजे से शाम 6 बजे तक है। बीआर्क पेपर 2 की परीक्षा 12 अप्रैल को होगी और परीक्षा सुबह 9 बजे से दोपहर 12 बजे तक एक ही पाली में होगी।

इन बातों का रखें ख्याल

उम्मीदवारों को सलाह दी जाती है कि वे आधिकारिक वेबसाइट पर लॉग इन करने से पहले आवेदन संख्या और पासवर्ड अपने पास रखें। इनकी मदद से ही एडमिट कार्ड डाउनलोड किया जा सकता है।

  • सुनिश्चित करें कि तकनीकी समस्याओं से बचने के लिए इंटरनेट ठीक से कनेक्ट है।
  • ब्राउजर के नवीनतम संस्करण अपडेट का इस्तेमाल करें।
  • एडमिट कार्ड डाउनलोड होने के बाद, उम्मीदवारों को नाम, रोल नंबर, विषय, परीक्षा तिथि और अन्य अनुभागों में किसी भी विसंगति की जांच करनी चाहिए।
  • अगर आपके एडमिट कार्ड में कोई विसंगति है तो सुधार के लिए अधिकारियों से तुरंत संपर्क करें।
  • सुनिश्चित करें कि फोटोग्राफ और हस्ताक्षर एडमिट कार्ड पर स्पष्ट रूप से दिखाई दे रहे हैं।
  • परीक्षा की तारीख, समय और स्थान का पहले से ही ध्यान रखें और उसके अनुसार यात्रा योजना तैयार करें।
  • एडमिट कार्ड पर उपलब्ध दिशानिर्देशों को अच्छी तरह से पढ़ें और आवश्यक दस्तावेज पहले से तैयार कर लें।

ऐसे डाउनलोड करें जेईई मेन 2024 सत्र 2 एडमिट कार्ड

जेईई मेन हॉल टिकट 2024 डाउनलोड करने के लिए उम्मीदवार नीचे दिए गए चरणों का पालन कर सकते हैं:

  • एनटीए जेईई की आधिकारिक वेबसाइट jeemain.nta.ac.in पर जाएं।
  • होमपेज पर “जेईई मेन हॉल टिकट” लिंक पर क्लिक करें।
  • आवश्यक क्रेडेंशियल जैसे आवेदन संख्या और पासवर्ड या जन्म तिथि दर्ज करें।
  • एडमिट कार्ड स्क्रीन पर प्रदर्शित हो जाएगा।
  • एडमिट कार्ड करें और परीक्षा केंद्र पर ले जाने के लिए एक प्रिंट ले लें।

 

ओपन स्कूल वाले दे सकेंगे NEET, सुप्रीम कोर्ट ने 27 साल पुरानी रोक हटाई

News web media Uttarakhand : ओपन स्कूल से 12वीं की पढ़ाई करने वाले छात्रों को सुप्रीम कोर्ट ने बड़ी राहत देते हुए डाक्टर बनने का रास्ता साफ कर दिया है। सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि सीबीएसई और राज्य शिक्षा बोर्ड द्वारा मान्यता सभी ओपन स्कूल अब राष्ट्रीय पात्रता सह प्रवेश परीक्षा (नीट) के लिए राष्ट्रीय चिकित्सा परिषद (एनएमसी) द्वारा मान्यता प्राप्त होंगे। अब मान्यता प्राप्त ओपन स्कूलों से 12वीं (10+2) पास स्टूडेंट्स भी नीट एग्जाम में बैठने के पात्र होंगे। दरअसल, अभी तक नीट की परीक्षा वही अभ्यर्थी दे पाते थे, जो रेगुलर पढ़ाई करते थे, लेकिन अब डिस्टेंस एजुकेशन से पढ़ाई करने वाले भी एग्जाम दे सकेंगे।

इसको लेकर सुप्रीम कोर्ट ने बड़ा फैसला सुनाते हुए 27 साल पुरानी रोक हटा दी है। मेडिकल काउंसिल ऑफ इंडिया (एमसीआई) ने ओपन स्कूल स्टूडेंट्स को नीट परीक्षा में बैठने की परमिशन देने वाले दिल्ली हाई कोर्ट के फैसले के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया था, लेकिन इस मामले में सुप्रीम कोर्ट ने छात्रों के पक्ष में फैसला सुनाते हुए उन्हें मेडिकल एंट्रेंस एग्जाम यानी नेशनल एलिजिबिलिटी कम एंट्रेंस टेस्ट (नीट) में बैठने पर मुहर लगा दी है। सुप्रीम कोर्ट का यह फैसला उन सभी लाखों छात्र-छात्राओं के लिए बड़ी खुशखबरी है, जो आर्थिक तंगी या अन्य किसी परेशानी के चलते रेगुलर पढ़ाई नहीं कर पाते और उनका डाक्टर बनने का सपना, सपना ही बनकर रह जाता है। अब ये छात्र भी नीट की परीक्षा देकर मेडिकल की पढ़ाई कर सकेंगे। एमसीआई ने 1997 के रेगुलेशन ऑन ग्रेजुएट मेडिकल एजुकेशन के खंड 4 (2) ए के प्रावधानों के अनुसार ऐसे उम्मीदवारों को नीट परीक्षा में बैठने से रोक दिया था। बाद में साल 2018 में दिल्ली हाई कोर्ट ने इस प्रावधान को असंवैधानिक करार देते हुए इसे रद्द कर दिया था।

चेतना अकादमी,  देहरादून के  काउंसलर ने बताया कि  मान्यता प्राप्त ओपन स्कूल से 12वीं (10+2) पास छात्र भी  नीट  परीक्षा में बैठ सकेंगे । जिससे कि नीट परीक्षा -2024 में छात्रों की संख्या बढ़ जाएगी । पिछले वर्ष नीट – 2023 परीक्षा में लगभग 20 लाख छात्र परीक्षा में बैठे थे ।

हिमाचल बोर्ड ने एक बार फिर किया 10वीं-12वीं की डेटशीट में बदलाव, अब इस दिन से शुरू होगी परीक्षा

News web media Uttarakhand :  हिमाचल प्रदेश बोर्ड ऑफ स्कूल एजुकेशन (HPBOSE) ने कक्षा 10वीं और 12वीं की बोर्ड परीक्षाओं की तारीखों में एक बार फिर से फेर-बदल किया है। इस संशोधन के अनुसार, 10वीं कक्षा की परीक्षा अब 02 मार्च से 21 मार्च, 2024 तक आयोजित की जाएगी, जबकि 12वीं की बोर्ड परीक्षा 01 मार्च से 28 मार्च, 2024 तक आयोजित की जाएगी। विस्तृत विवरण नीचे पढ़ें।

एचपीबीओएसई ने एक आधिकारिक नोटिस जारी कर संशोधन के बारें में बताया और कहा, ”छात्रों के हित में आंशिक संशोधन करते हुए यह अधिसूचित किया जाता है कि 10वीं एवं 12वीं कक्षा के नियमित (नियमित) एवं राज्य मुक्त विद्यालय (एसओएस) के अभ्यर्थियों की वार्षिक परीक्षा, कंपार्टमेंट/श्रेणी सुधार/अतिरिक्त विषय की परीक्षाएं सत्र 2023-24 निम्नानुसार आयोजित किया जाएगा।”

कक्षा तारीख समय
कक्षा 10 02 मार्च 2024 से 21 मार्च 2024 तक सुबह 8:45 से दोपहर 12 बजे तक
कक्षा 12 01 मार्च 2024 से 28 मार्च 2024 तक सुबह 8:45 से दोपहर 12 बजे तक

21 फरवरी से प्रैक्टिकल परीक्षाएं

बोर्ड ने आगे बताया कि कक्षा 10, 12 की व्यावहारिक/प्रैक्टिकल परीक्षाएं 21 फरवरी से 29 फरवरी तक आयोजित की जाएंगी। छात्रों को विषयवार परीक्षा तिथियों और समय को जानने के लिए 20 फरवरी को या उससे पहले अपने स्कूल प्रमुखों से संपर्क करने के लिए कहा गया है। उम्मीदवार नीचे एचबी बोर्ड कक्षा 10वीं और 12वीं की परीक्षा तिथियां देख सकते हैं।

HPBOSE 10वीं डेट शीट 2024

बोर्ड ने परीक्षा की तारीखों में भी फेरबदल किया है। संशोधित HPBOSE 10वीं डेट शीट 2024 इस प्रकार है:

परीक्षा तिथि विषय
2 मार्च 2024 गणित
5 मार्च 2024 सामाजिक विज्ञान
7 मार्च 2024 हिंदी
9 मार्च 2024 संगीत (स्वर)
11 मार्च 2024 वाद्य संगीत (Instrumental Music)
12 मार्च 2024 कंप्यूटर विज्ञान
13 मार्च 2024 गृह विज्ञान
14 मार्च 2024 कला-ए (स्केल और ज्यामिति), वाणिज्य (व्यवसाय के तत्व, बहीखाता और लेखा के तत्व, अंग्रेजी या हिंदी टाइप-लेखन), अर्थशास्त्र, एनएसक्यूएफ: कृषि, मोटर वाहन, स्वास्थ्य देखभाल, सूचना प्रौद्योगिकी सक्षम सेवाएं, मीडिया और मनोरंजन, खुदरा, शारीरिक शिक्षा, निजी सुरक्षा, दूरसंचार, पर्यटन और आतिथ्य, बैंकिंग वित्तीय सेवाएं और बीमा, परिधान, मेड-अप और होम फर्निशिंग, सौंदर्य और कल्याण, इलेक्ट्रॉनिक्स और हार्डवेयर, प्लम्बर
16 मार्च 2024 अंग्रेजी
18 मार्च 2024 वित्तीय साक्षरता (Financial Literacy)
19 मार्च 2024 विज्ञान और प्रौद्योगिकी (Science and Technology)
21 मार्च 2024 संस्कृत, उर्दू, पंजाबी, तमिल, तेलुगु

HPBOSE 12वीं डेट शीट 2024

इसी तरह, कक्षा 12 के पेपर भी पुनर्निर्धारित किए गए हैं और नया HPBOSE 12वीं टाइम टेबल 2024 इस प्रकार है:

परीक्षा तिथियां विषय
1 मार्च 2024 अंग्रेजी
2 मार्च 2024 संगीत (हिन्दुस्तानी स्वर), संगीत (हिन्दुस्तानी वाद्य मेलोडिक), संगीत (हिन्दुस्तानी वाद्ययंत्र ताल)
4 मार्च 2024 राजनीति विज्ञान
5 मार्च 2024 वित्तीय साक्षरता Financial Literacy(NSE)
6 मार्च 2024 बिजनेस स्टडीज, रसायन विज्ञान
7 मार्च 2024 संस्कृत
9 मार्च 2024 समाज शास्त्र
11 मार्च 2024 अकाउंटेंसी और फिजिक्स
12 मार्च 2024 इतिहास
13 मार्च 2024 मनोविज्ञान
14 मार्च 2024 ह्यूमन इकोलॉजी और फैमिली साइंस (H.Sc)
15 मार्च 2024 जीवविज्ञान
16 मार्च 2024 हिंदी, उर्दू
18 मार्च 2024 भूगोल
19 मार्च 2024 फिलॉस्फी
20 मार्च 2024 गणित
21 मार्च 2024 ललित कला चित्रकारी, ग्राफिक और अप्लाईड आर्ट्स (वाणिज्यिक कला)
22 मार्च 2024 नृत्य (कथक/भरतनाट्यम)
23 मार्च 2024 शारीरिक शिक्षा, योग, कंप्यूटर विज्ञान, एनएसक्यूएफ (सभी परीक्षाएं)
26 मार्च 2024 अर्थशास्त्र
27 मार्च 2024 फ्रेंच
28 मार्च 2024 लोक प्रशासन (Public administration)

सीबीएसई बोर्ड ने जारी किया 10वीं और 12वीं की परीक्षा का रिवाइज्ड शेड्यूल

News web media Uttarakhand : केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड की ओर से क्लास 10वीं और 12वीं की बोर्ड परीक्षाओं के लिए शेड्यूल जारी कर दिया गया था, जिसमें अब संशोधन किया गया है. जो छात्र शैक्षणिक वर्ष 2023-24 में उपस्थित होने वाली परीक्षा में शामिल होंगे वे आधिकारिक वेबसाइट cbse.gov.in पर जाकर इसे चेक कर सकते हैं. उम्मीदवार यहां दिए गए स्टेप्स को फॉलो कर रिवाइज्ड शेड्यूल डाउनलोड कर सकते हैं.

शेड्यूल के अनुसार कुछ पेपरों की परीक्षा तारीखों में कुछ बदलाव किए गए हैं. क्लास 10 तिब्बती पेपर की परीक्षा अब 23 फरवरी को आयोजित की जाएगी, जो पहले 4 मार्च को निर्धारित की गई थी. इसी प्रकार क्लास 10 रिटेल की परीक्षा जो 16 फरवरी को निर्धारित की गई थी, वह अब 28 फरवरी को आयोजित की जाएगी. इसके अलावा 12वीं क्लास की बोर्ड परीक्षा के परीक्षा कार्यक्रम में भी बदलाव किया गया है. 12वीं क्लास की फैशन स्टडीज की परीक्षा अब 11 मार्च की जगह अब 21 मार्च को आयोजित की जाएगी.

सीबीएसई बोर्ड क्लास 10वीं और 12वीं की परीक्षाएं 15 फरवरी से शुरू करेगा. क्लास 10वीं की परीक्षा 13 मार्च को समाप्त होगी, जबकि कक्षा 12 की परीक्षा 2 अप्रैल को ही समाप्त होगी. क्लास 10 और 12 दोनों की बोर्ड परीक्षाएं एक ही पाली में आयोजित की जाएंगी. सभी दिन परीक्षा सुबह 10.30 बजे से दोपहर 1.30 बजे तक आयोजित होगी.

किस तरह डाउनलोड करें रिवाइज्ड शेड्यूल-:
स्टेप 1: सबसे पहले उम्मीदवार सीबीएसई बोर्ड की आधिकारिक वेबसाइट cbse.gov.in पर जाएं
स्टेप 2: इसके बाद उम्मीदवार होम पेज पर क्लास 10वीं और 12वीं की संशोधित डेट शीट के लिंक पर क्लिक करें
स्टेप 3: अब उम्मीदवार के सामने एक नई पीडीएफ खुल जाएगी
स्टेप 4: फिर उम्मीदवार सभी परीक्षा की तारीखें चेक करें
स्टेप 5: अंत में उम्मीदवार आगे की जरूरत के लिए शेड्यूल डाउनलोड कर लें और प्रिंट निकाल लें