उतराखंड कैबिनेट ने दी यूसीसी की नियमावली को मंजूरी, प्रदेश में जल्द होगा लागू

News web media Uttarakhand : सोमवार को उत्तराखंड कैबिनेट ने समान नागरिक संहिता( यूसीसी) की नियमावली को मंजूरी दे दी है. अब इसे जल्द ही प्रदेश में लागू किया जा सकेगा.

सीएम धामी की अध्यक्षता में आज प्रदेश मंत्रिमंडल की बैठक हुई. इसमें यूसीसी का प्रस्ताव लाया गया. इस दौरान कैबिनेट ने नियमावली के प्रस्ताव पर मुहर लगा दी. सीएम धामी ने कहा कि 2022 में हमारी सरकार ने यूसीसी बिल लाकर जनता से किया वादा पूरा किया था.

तब से हम इसकी सारी प्रक्रियाएं पूरी कर इसे जल्द से जल्द लागू करने की दिशा में आगे बढ़ रहे हैं.यह उत्तराखंड के लिए गौरव की बात है कि हमारा प्रदेश सबसे पहले यूसीसी लागू करेगा. सब तैयारियां पूरी हो गई हैं. जल्द हम इसे लागू करेंगे.

समान नागरिक संहिता (यूसीसी) का वेबपोर्टल 21 जनवरी को पहली बार प्रदेशभर में एक साथ उपयोग में आएगा. फिलहाल यह कवायद सरकार के अभ्यास (मॉक ड्रिल) का हिस्सा होगी. इसके बाद यूसीसी को लागू किया जा सकता है. मॉक ड्रिल में यूसीसी का प्रशिक्षण ले रहे रजिस्ट्रार, सब रजिस्ट्रार और अन्य अधिकारी अपने-अपने कार्यालयों में यूसीसी पोर्टल पर लॉगइन करेंगे.

उसके जरिये विवाह, तलाक, लिव इन रिलेशन, वसीयत आदि सेवाओं के पंजीकरण का अभ्यास करेंगे. सुनिश्चित करेंगे कि यूसीसी लागू होने के बाद आम लोगों को उससे संबंधित सेवाएं मिलने में कोई तकनीकी बाधा तो नहीं आएगी. मॉक ड्रिल से सरकार, विशेष समिति और प्रशिक्षण टीम अपनी-अपनी तैयारियों को परख सकेंगी.

निकाय चुनाव के बीच गरमाई सियासत, BJP ने बताया देहरादून की मलिन बस्तियों में रहने वाले लोगों का क्या होगा?

News web media Uttarakhand : देहरादून में निकाय चुनाव के बीच एक बार फिर मलिन बस्तियों का मुद्दा गरमाने लगा है। निकाय चुनाव के बीच ही एनजीटी ने उत्तराखंड सरकार के मलिन बस्तियों को सुरक्षित करने के अध्यादेश को लेकर सवाल खड़े किए हैं। ऐसे में एक बार फिर मलिन बस्तियों पर खतरा मंडरा रहा है।
हाईकोर्ट पहले ही इस मामले पर सरकार से जबाव तलब कर चुका है। इस तरह से भाजपा सरकार मलिन बस्तियों के मामले में घिरती हुई नजर आ रही है। कांग्रेस को निकाय चुनाव में बड़ा मुद्दा मिल गया है। साथ ही भाजपा सरकार पर हमलावर है।
इस बीच भाजपा ने मलिन बस्तियों के कांग्रेसी भ्रम पर पलटवार कर कहा की हम किसी को बेघर नहीं होने देंगे। बता दें कि देहरादून में मलिन बस्तियां हमेशा से ही भाजपा, कांग्रेस दोनों के लिए सियासी वोट बैंक माना जाता रहा है। भाजपा के प्रदेश महामंत्री आदित्य कोठारी ने कांग्रेस द्वारा भाजपा के संकल्प पत्र पर उठाए सवालों का ज़बाब देते हुए कहा कि उनके द्वारा फैलाई जा रही यह पूरी तरह निराधार और सरासर झूठ है। कहा की इसी तरह की भ्रांतियां हमारे इसी विपक्षी दल द्वारा केदारनाथ उपचुनाव में भी फैलाई जाती रही थी। यही काम वह मालिन बस्तियों को लेकर कर रहे हैं। जबकि सच्चाई यह है कि जो भी लोग इनमें निवास कर रहे हैं उन्हें घबराने की जरूरत नहीं है, भाजपा सरकार उनके साथ खड़ी है।
उन्होंने कहा कि हम ही अध्यादेश लाकर गरीब लोगों का संरक्षण कर रहे हैं। इस मुद्दे पर सरकार का रुख स्पष्ट है कि उनके सुनियोजित पुनर्वास की व्यवस्था होने तक किसी को भी हटाया नहीं जाएगा। क्योंकि वे सभी लोग हमारे हैं और गरीब तबका या साधनहीन लोगों को हम लगातार प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत या अन्य योजना के तहत लगातार व्यवस्थाएं दे रहे हैं।
उन्होंने कहा कि हम किसी को भी बेघर नहीं होने देंगे, हम किसी को भी अतिक्रमण या अन्य व्यवस्था के नाम पर परेशान किए जाने के पक्ष में नहीं हैं। हमारी सरकार की मंशा स्पष्ट है, प्रधानमंत्री मोदी द्वारा लगातार करोड़ों लोगों के घर का सपना पूरा की मुहिम को उत्तराखंड में भी तेजी से आगे बढ़ाना। कहा कि लिहाजा जो इस प्रकार की भ्रांतियां फैलाई जा रही है यह बिल्कुल तथ्यहीन है और पार्टी ऐसी राजनीति की कड़े शब्दों में निंदा करती है। महामंत्री ने बताया कि कार्यकर्ता संकल्प पत्र को लेकर घर-घर पहुंच रहे हैं। जिसमें जनसंपर्क और कमरा बैठक से सरकार की उपलब्धि और हमारा आगे का संकल्प क्या है, दोनों विषयों पर जनता से चर्चा की जा रही है।

राष्ट्रीय खेल-1200 विशिष्ट खेल स्वयंसेवक भी होंगे तैनात

News web media Uttarakhand : राष्ट्रीय खेलों में 1200 विशिष्ट खेल स्वयंसेवकों की भी तैनाती की जाएगी. नेशनल फेडरेशन स्पोर्ट्स ऑफ इंडिया के स्तर पर उत्तराखंड को यह स्वयंसेवक उपलब्ध कराए जाएंगे. उत्तराखंड अपने स्तर से भी करीब 2300 सामान्य स्वयंसेवकों को चयनित करने जा रहा है. विशिष्ट खेल स्वयंसेवक इनसे अलग होंगे. हालांकि सामान्य स्वयंसेवकों के साथ ही इन्हें भी व्यवहार और शिष्टाचार की ट्रेनिंग प्रदान की जाएगी.

उत्तराखंड राष्ट्रीय खेलों के 38 वें संस्करण की मेजबानी कर रहा है. यह आयोजन 28 जनवरी से शुरू होने जा रहा है. तमाम तरह की व्यवस्थाओं को बनाने के लिए दो तरह के स्वयंसेवक अपना योगदान करेंगे. इसमें से सामान्य स्वयंसेवकों की भर्ती की प्रक्रिया वर्तमान में चल रही है. 30 हजार से ज्यादा लोगों ने स्वयंसेवक बनने के लिए रजिस्ट्रेशन किया है. इन सभी को ऑनलाइन ट्रेनिंग दी गई है. ऑनलाइन परीक्षा भी ली गई है. इसके परिणाम के आधार पर ही स्वयंसेवक भर्ती किए जाएंगे.

राष्ट्रीय खेल सचिचालय के अपर मुख्य कार्यकारी अधिकारी प्रशांत आर्या के अनुसार-सामान्य स्वयंसेवकों के अलावा विशिष्ट खेल स्वयंसेवकों की भी तैनाती की जाएगी. नेशनल फेडरेशन स्पोर्ट्स ऑफ इंडिया के माध्यम से ये स्वयंसेवक उत्तराखंड को प्राप्त होंगे, जिनकी विभिन्न स्थानों पर तैनाती की जाएगी.

विशिष्ट खेल स्वयंसेवकों की ये है विशिष्टता

नेशनल फेडरेशन स्पोर्ट्स ऑफ इंडिया इन विशिष्ट खेल स्वयंसेवकों को उपलब्ध कराता है. खेल पृष्ठभूमि वाले इन स्वयंसेवकों को राष्ट्रीय व अंतर्राष्ट्रीय स्तर की प्रतियोगिता का अनुभव होता है. सामान्य स्वयंसेवकों को जहां पार्किंग, मेहमानों को लाने-ले जाने संबंधी अन्य सामान्य व्यवस्थाओं में उपयोग किया जाता है, वहीं विशिष्ट स्वयंसेवकों को खेल से सीधे जुड़ी व्यवस्थाओं में जिम्मेदारी दी जाती है. स्वयंसेवकों से संबंधित कार्य देख रहे प्रतीक जोशी के अनुसार-विशिष्ट खेल स्वयंसेवकों को प्रतिदिन एक हजार रूपये मानदेय दिया जाएगा. सामान्य स्वयंसेवक का प्रतिदिन का मानदेय पांच सौ रूपये तय किया गया है.

38 वें राष्ट्रीय खेलों के लिए उत्तराखंड पूरी तरह से तैयार है. यह खुशी की बात है कि हर वर्ग राष्ट्रीय खेलों से किसी न किसी रूप में जुड़ने के लिए तैयार है. खेलों का यह बहुत बड़ा उत्सव है, जो कि उत्तराखंड में खेल विकास के दृष्टिकोण से महत्वपूर्ण साबित होगा.

आईटीडीए और एन.आई.सी. द्वारा विकसित की गई विभिन्न डिजिटल परियोजनाओं का सीएम धामी ने किया शुभारंभ

News web media Uttarakhand : सीएम पुष्कर सिंह धामी द्वारा सचिवालय में सूचना प्रौद्योगिकी विभाग और NIC द्वारा विकसित की गई विभिन्न डिजिटल परियोजनाओं का शुभारंभ किया गया.

इस दौरान सीएम धामी ने कहा कि वर्तमान समय में साइबर सुरक्षा और डेटा सुरक्षा की चुनौतियां तथा डिजिटल युग में सार्वजनिक सेवाओं को अधिक दक्ष, तीव्र और समावेशी बनाने के लिए नई तकनीकी को आत्मसात करते हुए आईटीडीए और NIC द्वारा संयुक्त रूप से विभिन्न ऑनलाइन प्लेटफॉर्म विकसित किए हैं. जिससे आम जनमानस को ऑल इन वन की तर्ज पर एक ही प्लेटफार्म पर आसानी से विविध प्रकार की सेवाएं मिल सकेगी. विभागों के कार्यों की प्रगति ऑनलाइन देखी जा सकेगी; जिससे पारदर्शिता और जवाबदेही में वृद्धि होगी.

उन्होंने कहा कि S3WaaS (Secure, Scalable and Sugamya website as a Service) फ्रेमवर्क में बनी समस्त विभागों की वेबसाइट साइबर सुरक्षा की दृष्टि से एक मील का पत्थर साबित होगी.

सीएम धामी ने कहा कि यह महत्वपूर्ण बात है कि राज्य में ITDA को UIDAI द्वारा AUA (ऑथेंटिकेशन यूजर एजेंसी) -KUA(की यूजर एजेंसी) बनाया गया है. इसके उपरांत आधार ऑथेंटिकेशन एवं EKYC से संबंधित सेवाएं राज्य के विभिन्न विभागों द्वारा विकसित किए गए पोर्टलों जैसे कि UCC, वर्चुअल रजिस्ट्री आदि के माध्यम से प्रदान की जा सकेगी.

सीएम धामी ने कहा कि राज्य डाटा सेंटर ने भी साइबर अटैक के उपरांत अपने आप को इंप्रूव किया है. नियर डिजास्टर रिकवरी को सचिवालय में स्थापित किया गया है. यह बड़ी बात है कि उक्त नियर डिजास्टर रिकवरी में राज्य की विभिन्न संवेदनशील एप्लीकेशन व वेबसाइट को किसी भी आपात स्थिति होने की दशा में 15 मिनट के अंतराल में सुचारू किया जा सकता है. कहा कि सुरक्षा की दृष्टि से राज्य डाटा सेंटर के अधीन सिक्योरिटी ऑपरेशन सेंटर 24 *7 कार्यरत है. यह कदम उत्तराखंड राज्य के अंतर्गत डिजिटल सिस्टम को और भी सशक्त और बेहतर किया जाने का सराहनीय प्रयास है.

सीएम धामी ने डिजिटल डिजिटलीकरण के बेहतर इंप्लीमेंटेशन के लिए सभी विभागों को बेहतर सेटअप बनाने के निर्देश दिए. उन्होंने सभी विभागों को निर्देशित किया कि अपनी विभागीय सूचनाओं को अपडेट रखें.
उन्होंने आईटीडीए को निर्देशित किया कि विकसित किए गए नए प्लेटफार्म पर सुगमता और तेजी से कार्य करने के लिए सभी विभागों का मार्गदर्शन करें.

मुख्यमंत्री ने NIC और आईटीडीए द्वारा विकसित किए गए प्रयासों की सराहना की तथा भविष्य में भी आईटीडीए और एन आई सी को आपसी समन्वय से उत्तराखंड में आईटी के क्षेत्र में बेहतर कार्य करने को प्रेरित किया.

इस दौरान बैठक में मुख्य सचिव राधा रतूड़ी, अपर मुख्य सचिव आनंद वर्धन, प्रमुख सचिव आर के सुधांशु व एल फैनई, सचिव आर मीनाक्षी सुंदरम, नितेश झा, पंकज पांडेय, दीपेंद्र चौधरी, डॉ आर राजेश कुमार, निदेशक ITDA नीतिका खंडेलवाल सहित संबंधित अधिकारी उपस्थित थे.

उत्तराखंड के किसानों से राज्य सरकार ने इस साल 3100 मीट्रिक टन मंडुआ खरीदा

News web media Utttarakhand : कुछ समय पहले तक उपेक्षित रहने वाला मंडुआ अब हाथों हाथ बिक रहा है. राज्य सरकार ने ही इस साल विभिन्न सहकारी और किसान संघों के जरिए उत्तराखंड के किसानों से 3100 मीट्रिक टन से अधिक मंडुआ खरीदा है. सरकार ने इस साल किसानों को मंडुआ पर 4200 प्रति कुंतल का समर्थन मूल्य भी दिया है.

उत्तराखंड के सीढ़ीदार खेतों में परंपरागत रूप से मंडुआ की खेती होती रही है. लेकिन कुछ साल पहले तक मंडुआ फसल उपेक्षा का शिकार रहती थी, जिस कारण किसानों का भी मंडुआ उत्पादन के प्रति मोह भंग होने लगा था. लेकिन केंद्र और उत्तराखंड सरकार द्वारा अब मिलेट्स फसलों को बढ़ावा दिया जा रहा है, जिस कारण उत्तराखंड में मंडुआ उत्पादक क्षेत्र के साथ ही उत्पादन भी बढ़ रहा है. मौजूदा सरकार ने मंडुआ उत्पादक किसानों को प्रोत्साहन देने के लिए सबसे पहले 2022 इसे राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा मिशन के तहत के तहत, न्यूनतम समर्थन मूल्य पर किसानों से खरीदना शुरू किया.

साथ ही उपभोक्ताओं तक मिलेट्स उत्पाद पहुंचाने के लिए सार्वजनिक वितरण प्रणाली से लेकर मिड डे मील और आंगनबाड़ी केंद्रों के पोषण कार्यक्रम में इसे शामिल किया गया. इसी तरह सरकार ने स्टेट मिलेट मिशन शुरू करते हुए, उत्पादन बढ़ाने के साथ ही, मिलेट्स उत्पादों को अपनाने के लिए व्यापक प्रचार प्रसार, किसानों से खरीद से लेकर भंडारण तक की मजबूत व्यवस्था तैयार की. वहीं किसानों को बीज, खाद पर अस्सी प्रतिशत तक सब्सिडी दी गई.

सरकार ने दूर दराज के किसानों से मंडुआ खरीदने के लिए बहुउद्देशीय प्राथमिक कृषि सहकारी समितियों और किसान उत्पादक संगठनों के सहयोग से जगह – जगह संग्रह केंद्र स्थापित किए. इस प्रयोग की सफलता की कहानी यूं कही जा सकती है कि 2020-21 में जहां इन केंद्रों की कुल संख्या 23 थी जो 2024-25 में बढ़कर 270 हो गई है. इन केद्रों के जरिए इस साल उत्तराखंड के किसानों से 3100.17 मीट्रिक टन, मंडुआ की खरीद की गई, इसके लिए किसानों को 42.46 प्रति किलो की दर से समर्थन मूल्य दिया गया. सरकार ने मंडुआ खरीद में सहयोग देने के लिए किसान संघों को 150 रुपए प्रति कुंतल और बहुउद्देशीय प्राथमिक कृषि सहकारी समितियों को प्रति केंद्र 50 हजार रुपए की प्रोत्साहन राशि प्रदान की. साथ ही सुनिश्चित किया गया कि केंद्रों का भुगतान 72 घंटे में कर दिया जाए.

प्रदेश में 2021-22 में मंडुआ समर्थन मूल्य कुल 2500 प्रति कुंतल था, जो 2024-25 में 4200 प्रति कुंतल हो गया है. इस तरह दो साल के अंतराल में ही समर्थन मूल्य 68 प्रतिशत बढ़ गया है. किसानों तक इसका लाभ पहुंचने से मंडुआ उत्पादन क्षेत्र भी बढ़ रहा है. इसके साथ ही सरकार ओपन मार्केट और हाउस ऑफ हिमालय के जरिए भी मंडुआ उत्पादों को प्रोत्साहन दे रही है.

उत्तराखंड में मंडुआ परंपरागत तौर पर उगाया जाता है. यह पौष्टिक होने के साथ ही आर्गेनिक भी होता है. इधर, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा मिलेट्स उत्पादों को बढ़ावा दिए जाने के बाद भी मंडुआ की मांग बढ़ी है. इसलिए राज्य सरकार सीधे किसानों से मंडुआ खरीद करते हुए, उत्पादन बढ़ाने पर जोर दे रही है, जिसके सकारात्मक परिणाम सामने आने लगे हैं.

बाबा बागेश्वर की शरण में पहुंचे संजय दत्त, बोले-गुरूजी मेरे छोटे भाई की तरह

News web media Uttarakhand : एक्टर संजय दत्त हाल ही में बाबा बागेश्वर की पदयात्रा में शामिल हुए थे. जिसके बाद दोनों खूब चर्चा में आ गए थे. वहीं अब एक बार फिर दोनों चर्चा में आ गए है. दरअसल, दोनों ने एक बार फिर से मुलाकात की है. जिसकी फोटो एक्टर ने अपने इंस्टाग्राम पर शेयर की है. जिसमें उन्होंने एक अच्छा सा कैप्शन भी लिखा है. वहीं दोनों को साथ में देखकर फैंस काफी ज्यादा खुश हो रहे है.

दरअसल, बता दें इस फोटो में दोनों ने एक-दूसरे का हाथ थामा हुआ है. वहीं संजय दत्त को बाबा बागेश्वर ने सम्मानित किया है. दोनों ही काफी ज्यादा खुश नजर आ रहे है. फोटो शेयर करते हुए लिखा- ‘श्री धीरेंद्र शास्त्री जी बागेश्वर धाम का मेरे घर आना और हम सभी को आशीर्वाद देना एक सम्मान की तरह हैं. ‘

इसके आगे उन्होंने लिखा, ‘गुरुजी और मैं परिवार की तरह, भाई की तरह हैं. जय भोले नाथ. वहीं एक्टर इससे पहले धीरेंद्र शास्त्री की पदयात्रा में भी शामिल हुए थे. उस दौरान भी उन्होंने कहा था कि गुरुजी मेरे छोटे भाई हैं. बाबा मुझे जह जिस काम के लिए बुलाएंगे मैं हाजिर रहूंगा. ‘

एक्टर का प्रोफेशनल लाइफ की बात करें तो वह जल्द ही ‘बागी 4’, ‘हाउसफुल 5’ और ‘वेलकम टू द जंगल’ में नजर आएंगे. वहीं बागी 4 में वो विलेन के रोल में नजर आएंगे.

यूसीसी,भू कानून और एक्सप्रेस वे, जानिए उत्तराखंड को नए साल में मिलने जा रही 7 बड़ी सौगातें

News web media Uttarakhand : साल 2025 का आगाज होते ही उत्तराखंड के लोगों के लिए नई सौगातें लेकर आ रहा है। राज्य स्थापना का रजत जयंती वर्ष उत्तराखंड के लिए खास होने जा रहा है। पूरे देश की नजर अब उत्तराखंड पर है जब नए साल के जनवरी माह में यूनिफॉर्म सिविल कोड लागू करने की तैयारी हो रही है।
इसके साथ ही उम्मीद की जा रही है कि इसी माह से देहरादून दिल्ली हाईवे भी शुरू हो जाएगा। जिसके बाद ​देहरादून से दिल्ली का सफर मात्र ढाई से तीन घंटे में पूरा हो जाएगी। ऐसी और क्या सौगातें प्रदेश को मिलने जा रही है। आइए नजर डालते हैं।
1-धामी सरकार इस साल समान नागरिक संहिता लागू करेगी। इसके लिए पहले प्रदेश के कर्मियों को प्रशिक्षण दिया जा रहा है। इसके साथ ही एप के जरिए भी ट्रेंड किया जा रहा है। माना जा रहा है कि सरकार 26 जनवरी तक यूसीसी लागू कर देगी।
2-सीएम धामी ने सशक्त भू-कानून लागू करने का वादा किया है। जिसका लंबे समय से इंतजार हो रहा है। दोनों कदम उत्तराखंड ही नहीं देश के लिए मिसाल पेश कर सकते हैं। धामी सरकार के वादे के अनुरूप ही प्रदेश में यूसीसी और भू कानून लागू होने से प्रदेश में बड़े बदलाव होने की उम्मीद जताई जा रही है।
3-नए साल में दिल्ली-देहरादून एक्सप्रेस वे पूरी तरह बनकर तैयार हो जाएगा। इसके बाद दिल्ली का सफर ढाई से तीन घंटे में पूरा हो सकेगा। कुल चार चरणों में हो रहे इस एक्सप्रेस वे के दो खंड पहले ही पूरे हो चुके हैं। जिसमें गणेशपुर से लेकर डाटकाली तक 12 किमी लंबा एलीवेटेड कॉरिडोर भी शामिल है।
4-उत्तराखंड में ओला उबर की तर्ज पर महिला सारथी योजना शुरू होगी। महिला सारथी परियोजना पायलट तौर पर देहरादून जिले से शुरू होने जा रही है। इसमें परिवहन विभाग जरूरतमंद महिलाओं को वाहन चलाने का प्रशिक्षण देने के साथ ही उनका ड्राइविंग लाइसेंस भी बनाएगा। इन महिलाओं के लिए ही वाहनों की व्यवस्था सीएसआर फंड और निर्भया योजना से की जानी प्रस्तावित है। इन गाड़ियों के संचालन के लिए एक पूरी तरह प्रोफेशनल मोबाइल एप बनाया जाएगा।

5-सीएम धामी ने चारधाम यात्रा के प्रबंधन के लिए नए साल में चारधाम यात्रा प्राधिकरण बनाने का फैसला लिया है। सीएम धामी ने प्राधिकरण पर 15 जनवरी तक सभी तीर्थ पुरोहितों और हितधारकों के साथ बैठक कर उनके सुझाव लेने के निर्देश दिए हैं। जनवरी माह के अंत तक प्राधिकरण का गठन पूरा करने को कहा है।

6-28 जनवरी से 38वें राष्ट्रीय खेल भी शुरू होंगे। पहली बार राज्य में राष्ट्रीय खेल होंगे। धामी सरकार ने राष्ट्रीय खेलों को कराने के लिए कई बड़े फैसले लिए हैं। देहरादून, हल्द्वानी,टिहरी समेत कई इलाकों में खेलों का आयोजन होगा। जिससे खेल,खिलाड़ियों और इससे जुड़े लोगों का फायदा होगा। इसके साथ ही धामी सरकार पदक लाने वाले खिलाड़ियों के लिए दोगुनी धनराशि देने का ऐलान किया है।
7-नए साल में मुख्यमंत्री उड़न खटोला योजना के तहत, पौड़ी, गोपेश्वर और केंद्र सरकार की क्षेत्रीय सम्पर्क योजना (आरसीएस) के तहत बागेश्वर और नैनीताल के लिए देहरादून से हेलीसेवा शुरू होने जा रही है।

सीएम धामी ने किया 06 फॉरेंसिक वाहनों का फ्लैग ऑफ

News web media Uttarakhand : सीएम पुष्कर सिंह धामी ने मंगलवार को मुख्यमंत्री आवास में गृह विभाग के अधीन 06 फॉरेंसिक लैब वाहनों का फ्लैग ऑफ किया. 65 लाख की लागत वाले प्रत्येक फॉरेंसिक लैब वाहन में ड्रग डिडक्शन किट, एक्सप्लोजिव किट, फिंगर प्रिंट किट, फुट प्रिंट किट, डीएनए किट, फ्रिज, जनरेटर, साइबर सुरक्षा से संबंधित सॉफ्टवेयर, वीडियो कैमरा और अन्य सुविधाएं उपलब्ध हैं. इन फॉरेंसिक लैब वाहनों के माध्यम से किसी भी आपराधिक घटना की मौके पर ही प्राथमिक परीक्षण संभव हो जाएगा.

प्रथम चरण में ये फॉरेंसिक लैब वाहन देहरादून, हरिद्वार, नैनीताल , उधमसिंहनगर , नैनीताल, अल्मोड़ा और श्रीनगर भेजे जा रहें. बाद मे सभी जनपदों के लिए यह व्यवस्था की जायेगी. इन वाहनों के लिए राज्य को केन्द्र सरकार से 3.92 करोड़ की धनराशि मिली है.

इस मौके पर कैबिनेट मंत्री रेखा आर्य, विधायक दिलीप रावत, सचिव गृह शैलेश बगौली, एडीजी और निदेशक फॉरेंसिक साइंस लैब अमित कुमार सिन्हा, संयुक्त निदेशक डॉ. एसके शर्मा, उप निदेशक डॉ. मनोज अग्रवाल, डॉ पान सिंह, विशेषज्ञ डॉ दयाल शरण, वैज्ञानिक डॉ मोनिका और डॉ राकेश कुमार शामिल थे.

बारिश-बर्फबारी के बाद शीत लहर बढ़ाएगी ठिठुरन, प्रदेशभर में आज येलो अलर्ट जारी

News web media Uttarakhand : उत्तराखंड के पर्वतीय जिलों में हुई बारिश-बर्फबारी के बाद मंगलवार को शीत लहर ठिठुरन बढ़ाएगी। मौसम विज्ञान केंद्र की ओर से प्रदेशभर के सभी जिलों में शीतलहर का येलो अलर्ट जारी किया गया है।

हालांकि, मौसम साफ रहेगा। दो दिन हुई बारिश-बर्फबारी के बाद भले ही 10 दिसंबर से मौसम प्रदेशभर में साफ हो जाएगा, लेकिन शीतलहर, कोहरा और पाला पहाड़ से लेकर मैदान तक खूब परेशान करेगा।

सोमवार के तापमान की बात करें तो बारिश और बर्फबारी से दून का अधिकतम तापमान सामान्य से दो डिग्री कम के साथ 21.1 डिग्री रिकॉर्ड किया गया, जो सीजन का सबसे कम तापमान है, जबकि रात का न्यूनतम तापमान 8.5 डिग्री के साथ सामान्य रहा। केंद्र की ओर जारी पूर्वानुमान के अनुसार, मंगलवार को दून का अधिकतम तापमान 23 और न्यूनतम छह डिग्री रहने के आसार हैं।

ये रहा तापमान

स्थान अधिकतम न्यूनतम
देहरादून 21.1 8.5
पंतनगर 23.0 7.6
मुक्तेश्वर 8.0 -1.5
नई टिहरी 10.5 1.8

उत्तराखंड स्थापना दिवस से पहले सड़क पर उतरे सीएम धामी, झाड़ू लगाकर दिया स्वच्छता का संदेश

News web media Uttarakhand :  सीएम पुष्कर सिंह धामी ने राज्य स्थापना दिवस के पूर्व दिवस पर रेसकोर्स में स्वच्छता कार्यक्रम में प्रतिभाग किया और झाड़ू लगाकर स्वच्छता का संदेश दिया. इस अवसर पर सीएम धामी ने देहरादून नगर निगम के अंतर्गत स्ट्रीट लाइट की शिकायत के लिए बनाए गए क्यू आर स्कैनर का शुभारंभ भी किया. यह स्कैनर देहरादून नगर निगम के अंतर्गत लगी स्ट्रीट लाइट के खंभों पर लगाया जाएगा. स्ट्रीट लाइट खराब होने पर कोई भी व्यक्ति इसे स्कैन कर शिकायत दर्ज कर सकता है.

सीएम धामी ने कहा कि अल्मोड़ा के मार्चुला में बस हादसे में दिवंगत लोगों की स्मृति में आज प्रदेशभर में स्वच्छता और सेवा के कार्यक्रम आयोजित किए जा रहे हैं. सीएम धामी ने बस हादसे में मृतकों की आत्मा की शांति और घायलों के शीघ्र स्वस्थ होने की ईश्वर से कामना की है.

सीएम धामी ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा 10 साल पहले चलाए गए स्वच्छ भारत अभियान के परिणामस्वरूप पूरे देश में स्वच्छता के प्रति लोगों में जागरूकता बढ़ी. प्रधानमंत्री की स्वच्छ और स्वस्थ भारत की परिकल्पना साकार हो रही है.

सीएम धामी ने कहा कि देवभूमि उत्तराखंड पर्यटन और तीर्थाटन की दृष्टि से महत्वपूर्ण राज्य है. उन्होंने सभी प्रदेशवासियों से आह्वाहन किया है कि स्वच्छता को अपनी नियमित दिनचर्या बनाकर देवभूमि उत्तराखंड को स्वच्छ रखने में सरकार के सहयोगी बने.

सीएम धामी ने कहा की उत्तराखंड राज्य रजत जयंती वर्ष में प्रवेश कर रहा है. इन 24 सालों में हमारी देवतुल्य जनता के सहयोग से हर क्षेत्र में राज्य तेजी से आगे बढ़ा है. इस दशक को उत्तराखंड का दशक बनाने के लिए जन सहभागिता से राज्य सरकार द्वारा हर क्षेत्र में अल्पकालिक, लघुकालिक और दीर्घकालिक योजनाओं पर कार्य किए जा रहे हैं.

सीएम धामी ने कहा कि आज अनेक क्षेत्रों में उत्तराखंड देश के अग्रणी राज्यों की श्रेणी में है. नीति आयोग द्वारा जारी सतत विकास लक्ष्यों की रैंकिंग में उत्तराखंड को देश में प्रथम स्थान मिला है. ईज ऑफ डुइंग बिजनेस में राज्य को एचीवर्स और स्टार्टप में लीडर्स की श्रेणी प्राप्त हुई है. जीएसडीपी में 33 प्रतिशत की बढ़ोतरी हुई है. उत्तराखण्ड युवाओं को रोजगार देने में भी अग्रणी राज्य बना है. एक वर्ष में बेरोजगारी दर में 4.4 प्रतिशत कमी लाई गई है.