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सीएम धामी ने ली विभिन्न विभागों की समीक्षा बैठक, अधिकारियों को दिए यह निर्देश

News web media Uttarakhand : उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने राज्य में संचालित एवं प्रस्तावित बाह्य सहायतित परियोजनाओं के क्रियान्वयन में समय बद्धता का विशेष ध्यान रखने के निर्देश सभी सम्बन्धित विभागीय अधिकारियों को दिए हैं। उन्होंने यह भी निर्देश दिए कि जनहित से जुड़ी योजनाएं समय पर पूरी हों। इसके लिए कार्यदायी संस्थाओं की सजगता से निगरानी की जाए। जो कार्यदायी संस्था कार्यों के प्रति उदासीन नजर आए उस पर त्वरित कार्यवाही कर उन्हें बाहर किया जाए। योजनाओं का क्रियान्वयन निर्धारित समय सीमा के अंतर्गत सुनिश्चित हो। यह विभागीय सचिवों एवं विभागाध्यक्षों की जिम्मेदारी है।
सचिवालय में बुधवार को पर्यटन, पेयजल, जलागम प्रबंधन, वन, नगर विकास, चिकित्सा स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण तथा कौशल विकास एवं सेवा योजना के अंतर्गत संचालित एवं प्रस्तावित बाह्य सहायतित परियोजनाओं की समीक्षा करते हुए मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने सख्त निर्देश दिए कि हमारा लक्ष्य एवं प्रयास योजनाओं को समय पर पूर्ण करने का होना चाहिए।
उन्होंने कहा कि संचालित योजनाओं से जनता कितना लाभान्वित हो रही है। इसका भी आकलन किया जाना चाहिए। मुख्यमंत्री धामी ने कहा कि जो परियोजनाएं केन्द्र स्तर पर गतिमान हैं। उनमें तेजी लाए जाने के लिए केन्द्र स्तर पर अच्छी तरह पैरवी हो सके। इसके लिए ऐसे प्रस्ताव रेजिडेंट कमिश्नर को भेजे जाएं। उन्होंने कार्यों की स्वीकृति में शीघ्रता के लिए विभागीय नोडल अधिकारी की व्यवस्था के निर्देश भी दिए हैं।
सीएम धामी ने अधिकारियों को निर्देश दिए कि केन्द्र सरकार के लिए जो भी प्रस्ताव बनाए जा रहे हैं। उन्होंने उनका गहनता से अध्ययन एवं परीक्षण के साथ परियोजना के सभी पहलुओं को ध्यान में रखते हुए भेजा जाए। मुख्यमंत्री ने योजनाओं के प्रभावी क्रियान्वयन में डेसबोर्ड एवं एसओपी तैयार करने के भी निर्देश दिए। ताकि योजनाओं की मॉनिटरिंग सही ढंग से हो सके। इसके लिए योजनाओं के संचालन में सभी संबंधित विभागों को आपसी समन्वय से कार्य करने के भी निर्देश मुख्यमंत्री ने दिए। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि टिहरी झील के आसपास के क्षेत्रों को पर्यटन की दृष्टि से विकसित करने से पर्यटन को बढ़ावा मिलने के साथ रोजगार के अवसर उपलब्ध होंगे। इस वर्ष वर्षा एवं बर्फबारी की कमी के कारण जलापूर्ति की कमी को दूर करने के लिए पेयजल एवं जलागम के क्षेत्र में भी कार्ययोजना योजना तैयार करने को कहा। वन विभाग द्वारा जायका के अधीन संचालित योजनाओं में जनता की सुविधाओं पर ध्यान देने पर भी मुख्यमंत्री ने बल दिया। मुख्यमंत्री ने निर्देश दिए कि प्रदेश के पॉलिटेक्निक एवं आईटीआई कौशल विकास एवं युवाओं के रोजगार एवं स्वरोजगार के केंद्र बने। इसके लिए इन्हें अवस्थापना सुविधाओं से मजबूत किया जाए। ताकि युवाओं को तकनीकि दक्षता उपलब्ध हो। इसके लिए प्रमुख उद्यमियों से वार्ता कर उनके अनुकूल ट्रेड में युवाओं की दक्षता पर ध्यान दिया जाए। इसके लिए दक्ष प्रशिक्षकों की व्यवस्था सुनिश्चित करने के निर्देश भी मुख्यमंत्री ने दिए। सीएम धामी ने यह भी निर्देश दिए कि आईटीआई में यदि अनुदेशकों की कमी है तो इसके लिए शीघ्रता से भर्ती प्रक्रिया आरंभ की जाए। यदि आयोग के स्तर पर इसमें विलंब हो रहा हो तो इसके लिए शीघ्र नियुक्ति के लिए आयोग से अपेक्षा की जाए। इस अवसर पर राज्य अवस्थापना अनुश्रवण परिषद के उपाध्यक्ष विश्वास डाबर, मुख्य सचिव राधा रतूड़ी, अपर मुख्य सचिव आनन्द बर्धन, प्रमुख सचिव आरके सुधांशु, सचिव आर मीनाक्षी सुंदरम, अरविंद सिंह ह्यांकी, आर राजेश कुमार, नीरज खैरवाल, वन प्रमुख अनूप मलिक, अपर सचिव युगल किशोर पंत एवं सम्बंधित विभागों के अधिकारी उपस्थित थे।

 

हल्द्वानी के बनभूलपुरा में हिंसा के छह दिन बाद कर्फ्यू में ढील, जानिए क्या हैं हालात, कहां मिली राहत

News web media Uttarakhand : हल्द्वानी के बनभूलपुरा में हुई हिंसा के छह दिन बाद आज कर्फ्यू में ढील दी गई है। ढील भी अलग-अलग क्षेत्रों में दो घंटे से सात घंटे के लिए दी जाएगी। इस दौरान बाहरी आवाजाही पूर्ण रूप से बंद रहेगी। दुकानें खुलेंगी। प्रशासन दुकानों तक जरूरी सामान पहुंचाएगा लेकिन इंटरनेट पूर्ण रूप से बंद रहेगा। बता दें कि दूसरे इलाके में पहले ही ढील दी जा चुकी है।
डीएम के आदेश के अनुसार मंडी गेट शनिबाजार रोड से पश्चिम दिशा का क्षेत्र, रेलवे बाजार रोड से पश्चिम दिशा का पूरा क्षेत्र, गोलच्छा कंपाउंड स्थित एफसीआई क्षेत्र में सुबह नौ बजे से शाम चार बजे तक छूट रहेगी। शेष कर्फ्यू वाले क्षेत्र में सुबह नौ बजे से 11 बजे तक छूट रहेगी। बाहरी आवाजाही बंद रहेगी। पुलिस तैनात रहेगी। दुकानें खुलेंगी। इस क्षेत्र में रहने वाले लोग क्षेत्र में कहीं भी जा सकते हैं। इसके साथ ही पुलिस द्वारा ये भी जानकारी दी गई है कि इस क्षेत्र में अगर किसी की परीक्षा हो तो वह अपना एडमिट कार्ड दिखाकर आवागमन कर सकता है।
आठ फरवरी को हल्द्वानी के बनभूलपुरा में अतिक्रमण हटाने गई टीम पर उपद्रवियों ने हमला कर दिया था। जिसके बाद से इलाके में कर्फ्यू लगा है। हालांकि दूसरे इलाको में अब स्थिति पहले से सामान्य है। उधर पुलिस प्रशासन आरोपियों के खिलाफ कार्रवाई करने में जुटी है।
इस बीच सिविल कोर्ट ने आठ फरवरी को हल्द्वानी के बनभूलपुरा में हुई हिंसा के मास्टरमाइंड अब्दुल मलिक और उसके बेटे समेत नौ उपद्रवियों की संपत्ति जब्त करने के आदेश जारी किए हैं। कोर्ट ने पुलिस को सभी आरोपियों के खिलाफ कार्रवाई करने की इजाजत दे दी है। इससे पहले 13 फरवरी को सिविल कोर्ट ने सभी नौ आरोपियों के खिलाफ गैर जमानती वारंट जारी किया था। बता दें कि अब तक बनभूलपुरा हिंसा में शामिल कुल 37 उपद्रवियों को जेल भेजा जा चुका है। साथ ही अतिक्रमण स्थल पर पुलिस चैकी खोली जा चुकी है।

हल्द्वानी हिंसा मामले में कोर्ट में हुई सुनवाई, हाईकोर्ट ने दिए ये आदेश

News web media Uttarakhand : हल्द्वानी हिंसा मामले में आज हाईकोर्ट में सुनवाई हुई। जिसमें बनभूलपूरा स्थित मलिक और नजाकत अली के बगीचे के मामले में वरिष्ठ न्यायमूर्ति मंनोज कुमार तिवारी की एकलपीठ में सुनवाई की। कोर्ट ने सुनवाई के दौरान कहा कि विवादित भूमि को नजूल लैंड बताया गया है। जो कृषि कार्यों के लिए दस सालों की लीज पर दी गई थी। लेकिन लीज खत्म होने के बाद इसका नवीनीकरण नहीं किया गया। इसके साथ ही कोर्ट ने कहा कि अगर अगर दिए गए कारण के अलावा भूमि को दूसरे कार्यों के लिए इस्तेमाल किया जाता है तो लीज स्वतः कैंसिल मानी जाती है।

याचिकाकर्ता साफिया मालिक के अधिवक्ता सलमान खुर्शीद ने हाईकोर्ट में सुनवाई के दौरान बहस करते हुए कहा की उन्हें उस जमीन से न हटाया जाए। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि उनके द्वारा किए गए निर्माण का ध्वस्तीकरण एक नियमित कानूनी प्रक्रिया के बाद ही किया जाए।

सलमान खुर्शीद ने हाईकोर्ट से शिकायत करते हुए कहा कि उन्हें नोटिस देने के चार दिनों के भीतर ही निर्माण को ध्वस्त कर दिया गया। जबकि ये कार्रवाई 15 दिनों के बाद की जाती है। याची के अधिवक्ता को असिस्ट कर रहे अहरार बेग के मुताबिक जो निर्माण किया गया है उसे गलत तरीके से ध्वस्त किया गया है।

महाधिवक्ता एस.एन.बाबुलकर ने बताया कि हाईकोर्ट ने सरकार को जवाब दाखिल करने के लिए चार हफ्तों का समय दिया है। जबकि कोर्ट ने याची को प्रतिउत्तर जमा करने के लिए दो हफ्तों का समय दिया है। इसके साथ ही उन्होंने बताया कि सरकार ने नियम से अतिक्रमण हटाने की ड्राइव के दौरान इस भूमि में अतिक्रमण ध्वस्त किया है।

18 मई को खुलेंगे चतुर्थ केदार रुद्रनाथ मंदिर के कपाट, पंचांग गणना के आधार पर तय हुई तिथि

News web media Uttarakhand : उत्तराखंड के पंच केदारों में से चतुर्थ केदार रुद्रनाथ मंदिर के कपाट इस वर्ष 18 मई को ग्रीष्मकाल के लिए खोले जाएंगे। बसंत पंचमी के पर्व पर गोपीनाथ मंदिर में पुजारियों, हक-हकूकधारियों और मंदिर समिति के पदाधिकारियों के सामने पंचांग गणना के आधार पर कपाट खुलने की तिथि निर्धारित की गई।

बुधवार को गोपीनाथ मंदिर में प्रातः कालीन पूजा के बाद 10 बजे मंदिर में आयोजित कार्यक्रम में रुद्रनाथ मंदिर के पुजारी वेद प्रकाश भट्ट व अन्य हक-हकूकधारियों की उपस्थिति में पंचांग गणना की गई।

उन्होंने बताया कि कपाट खुलने की प्रक्रियाओं के तहत भगवान रुद्रनाथ की चल विग्रह मूर्ति 14 मई 2024 पूजा अर्चना के बाद गोपीनाथ मंदिर के गर्भगृह से मंदिर परिसर में लाई जाएगी। जहां से 16 मई को भगवान रुद्रनाथ की चल विग्रह डोली रुद्रनाथ के लिए प्रस्थान करेगी। जिसके बाद 18 मई को विधि विधान से मंदिर के कपाट श्रद्धालुओं के दर्शनों के लिए खोल दिए जाएंगे।

देहरादून: बिजली की दरों में बढ़ोतरी पर 19 फरवरी को जनसुनवाई, नई दरें लागू होंगीं 1 अप्रैल से

News web media Uttarakhand : उत्तराखंड विद्युत नियामक आयोग ने प्रदेश में बिजली दरों में बढ़ोतरी के प्रस्ताव पर 19 फरवरी से जनसुनवाई आयोजित करने की घोषणा की है। इस जनसुनवाई के दौरान, गढ़वाल मंडल में दो और कुमाऊं मंडल में दो शहरों की सुनवाई की जाएगी। इसके बाद, आयोग अपना निर्णय लेकर नई विद्युत दरें तय करेगा, जो एक अप्रैल से प्रभावी होंगीं।

आयोग के सचिव नीरज सती ने घोषणा की कि देहरादून के साथ-साथ अल्मोड़ा, टिहरी गढ़वाल और रुद्रपुर में भी जनसुनवाई आयोजित की जाएगी। इस अवसर पर कोई भी उपभोक्ता अपने पक्ष को साझा कर सकेगा और हितधारकों को भी सुनवाई का मौका दिया जाएगा। सुनवाई के उपरान्त, आयोग बैठक आयोजित करेगा और विद्युत दरों पर अंतिम निर्णय लेगा।

यूपीसीएल के टैरिफ में 1.5 प्रतिशत की बढ़ोतरी का प्रस्ताव देने के तहत, इसका अर्थ है कि यूपीसीएल के टैरिफ में 24.5 से 28.5 प्रतिशत तक की बढ़ोतरी होगी। पिटकुल ने पिछले साल के मुकाबले इस साल करीब 48 प्रतिशत बढ़ोतरी का प्रस्ताव दिया है, जिसमें ट्रांसमिशन चार्जेज और अन्य रखरखाव भी शामिल हैं। यदि आयोग इस प्रस्ताव को स्वीकार करता है, तो यूपीसीएल के टैरिफ में और भी 1.5 प्रतिशत की बढ़ोतरी हो सकती है। अगले साल तीनों निगमों का कुल मिलाकर प्रस्ताव 26 से 30 प्रतिशत तक पहुंच सकता है। इस मामले पर नियामक आयोग को ध्यान से निर्णय लेना होगा।

हल्द्वानी हिंसा में हुए नुकसान की भरपाई करेगा मास्टरमाइंड अब्दुल मलिक, 2.44 करोड़ की वसूली का नोटिस जारी

News web media uttarakhand : उत्तराखंड के हल्द्वानी में हुई हिंसा के बाद अब हालात सामान्य होते जा रहे हैं। हालांकि बनभूलपुरा में कर्फ्यू जारी है। इस बीच प्रशासन और संबंधित विभागों ने आगे की कार्रवाई शुरू कर दी है। हल्द्वानी हिंसा में प्रशासन और विभागों को हुए नुकसान की भरपाई हिंसा के मास्टरमाइंड अब्दुल मलिक से की जाएगी।
अब्दुल मलिक को नगर निगम ने वनभूलपुरा हिंसा में हुए नुकसान की भरपाई के लिए 2.44 करोड़ की वसूली का नोटिस जारी किया गया है। 15 फरवरी तक रकम जमा कराने के आदेश दिए गए हैं।
उत्तराखंड के हल्द्वानी में गुरुवार की शाम भड़की हिंसा के मामले में अब कार्रवाई जारी है। दूसरे इलाकों में हालात सामान्य हो गए हैं। जबकि बनभूलपुरा में कर्फ्यू लगाया गया। आरोपियों की धर पकड़ के लिए पुलिस टीमें लगातार कार्रवाई कर रही हैं।
मुख्य आरोपी और बनभूलपुरा हिंसा के मास्टरमाइंड अब्दुल मलिक की गिरफ्तारी के लिए 6 विशेष टीमें बनाई गई हैं। उधर नगर निगम ने अब्दुल मलिक को वनभूलपुरा हिंसा में हुए नुकसान की भरपाई के लिए 2.44 करोड़ की वसूली का नोटिस जारी किया गया है। 15 फरवरी तक रकम जमा कराने के आदेश दिए गए हैं। बनभूलपुरा कांड के मास्टरमाइंड अब्दुल मलिक से हिंसा के दौरान हुए नुकसान की वसूली का निर्णय लिया गया है। हिंसा के दौरान हुई सरकारी संपत्ति के नुकसान को लेकर नगर निगम ने अब्दुल मलिक को 2 करोड़ 44 लाख रुपए की वसूली का नोटिस जारी किया है।
सोमवार को नगर आयुक्त पंकज उपाध्याय ने यह नोटिस जारी किया। वसूली की रकम जमा करने के लिए मलिक को 15 फरवरी तक का समय दिया गया है। नोटिस में कहा गया है कि बनभूलपुरा के मालिक का बगीचा क्षेत्र में किए गए अतिक्रमण को हटाने के दौरान हुई हिंसा और उपद्वव में नगर निगम की संपत्तियों को भारी नुकसान पहुंचा है।
मौके पर मौजूद नगर निगम के ट्रैक्टर और जीप के साथ ही लोडर वाहनों को आग के हवाले कर दिया गया। इसकी वसूली के लिए नगर निगम ने पुलिस की ओर से उपद्रव के मास्टरमाइंड बताए गए अब्दुल मलिक को नोटिस जारी किया है। नगर निगम ने प्रारंभिक आकलन में अपनी 2 करोड़ 44 लाख रुपये की संपत्ति के नुकसान का अनुमान लगाया है। निर्धारित समय सीमा 15 फरवरी तक रकम जमा नहीं करने पर अब्दुल मलिक कानूनी कार्रवाई की चेतावनी दी गई है।

टनकपुर में केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी करीब 2217 करोड़ रुपए की योजनाओं का किया शिलान्यास, मुख्यमंत्री धामी भी रहे मौजूद

News web media Uttarakhand : केंद्रीय सड़क एवं परिवहन मंत्री नितिन गडकरी एक दिवसीय दौरे पर मंगवलार 13 फरवरी को उत्तराखंड पहुंचे, केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी के उत्तराखंड में दो कार्यक्रम है। पहला कार्यक्रम उनका कुमाऊं मंडल के टनकपुर में हुआ, वहीं दूसरा कार्यक्रम गढ़वाल मंडल के हरिद्वार जिले में है, नितिन गडकरी फ्लाइट से सुबह दोपहर को करीब 12.30 बजे उधमसिंह नगर जिले के पंतनगर एयरपोर्ट पहुंचे, जहां उत्तराखंड सीएम पुष्कर सिंह धामी के साथ सरकार के कई मंत्री और बीजेपी के अन्य नेताओं ने उनका जोरदार स्वागत किया। इसके बाद केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी और सीएम पुष्कर सिंह धामी दोनों सीमांत जिले चंपावत के टनकपुर पहुंचे, नितिन गडकरी के टनकपुर दौरे से बीजेपी कार्यकर्ता काफी उत्साहित है।  टनकपुर में केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी करीब 2217 करोड़ रुपए की योजनाओं की शिलान्यास किया, टनकपुर के बाद केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी का हरिद्वार में भी कार्यक्रम है, हरिद्वार में केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी दिल्ली-ऋषिकेश हाईवे पर बने फ्लाईओवर का लोकार्पण करेंगे ।

सीएम धामी ने अपने संबोधन में कहा प्रदेश में अनेक परियोजनाओं पर काम हो रहा है, प्रदेश में जारी विकास कार्यों की प्रगति संतोषजनक है, हर साल 50 लाख से अधिक श्रद्धालु मां पूर्णागिरी के धाम टनकपुर में आते हैं । आने वाले समय में यह आंकड़ा बढ़ेगा. सीएम ने कहा कि अभी हाल ही में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आद‍ि कैलाश के दर्शन किए थे, जिसके बाद से बहुत सारे लोग यहां आ रहे हैं, उत्तराखंड धार्मिक रूप से अत्यंत महत्वपूर्ण है, देव स्थान उत्तराखंड की धरोहर है। कई संकटों को झेलने के बाद भी उत्तराखंड वही है, प्रधानमंत्री के नेतृत्व में भारत का मान-सम्मान बढ़ा हैं। सीएम धामी ने बताया कि पीएम मोदी के नेतृत्व में चारधाम के साथ ही मंदिरमाला मिशन से जुड़े मंदिरों का जीर्णोंद्धार हो रहा है, दिल्ली जाने के लिए वाया मुरादाबाद छह लेन का रास्ता उत्तराखंड को मिल रहा है । सीएम ने कहा कि चुनाव से पहले लोगों को बरगलाने का काम होता था लेक‍िन अब यह बदल रहा है, बीजेपी ने चुनाव से पूर्व समान नागरिक संहिता का वायदा किया था, जिसे उनकी सरकार ने पूरा किया है।

सीएम धामी ने कहा कि पीएम मोदी के नेतृत्व में सभी गारंटियां पूरी हो रही है, डबल इंजन सरकार सभी तक योजनाओं का लाभ पहुंचाने के लिए संकल्पबद्ध है । केंद्र की बीजेपी सरकार उन सभी नीतियों को  स्वीकृति दे रही है, जिनकी उत्तराखंड को जरूरत है । इस मौके पर केंद्रीय मंत्री नीतिन गडकरी ने कहा कि काठगोदाम से नैनिताल मार्ग के दो लेन पेव्ड शोल्डर सहित चौड़ीकरण से मानसखंड मंदिरों तक कनेक्टिविटी बेहतर होगी. काशीपुर से रामनगर मार्ग के 4-लेन चौड़ीकरण से जिम कॉर्बेट नेशनल पार्क और मानसखंड मंदिरों तक पर्यटकों को पहुंचना आसान होगा । इसके अलावा कंगारछीना से अल्मोड़ा मार्ग के 2-लेन चौड़ीकरण से बागेश्वर जाने वाले पर्यटकों की न सिर्फ संख्या बढ़ेगी बल्कि उनका समय भी बचेगा, राष्ट्रीय राजमार्ग 309A पर उडियारी बैंड से कांडा मार्ग के 2-लेन चौड़ीकरण और पुनर्वास करने से बागेश्वर में बागनाथ और बैजनाथ मंदिर तक जाना सुगम होगा। साथ ही बागेश्वर से पिथौरागढ़ का दुर्गम सफर ज्यादा बेहतर, सुरक्षित और समय बचाने वाला होगा।

उत्तराखंड में शानदार आधारभूत संरचना तैयार करने के लक्ष्य से केवल सड़कों और राजमार्गों का कार्य ही नहीं चल रहा बल्कि लोगों की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए राष्ट्रीय राजमार्ग 87 एक्स्टेंशन पर दीवारों का निर्माण भी किया जा रहा है, बागेश्वर जिले में सरयू और गोमदी नदी पर 2 पुलों के मरम्मत का काम भी 5 करोड़ रुपए की लागत से किया जा रहा है। इन परियोजनाओं से केवल पर्यटकों को ही लाभ नही है, बल्कि स्थानीय लोगों के लिए भी आना-जाना सुगम होगा, साथ ही पर्यावरण को बगैर कोई क्षति पहुंचाए स्थानीय अर्थव्यवस्था भी मजबूत होगी। केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी के इस सभी कार्यक्रमों को लोकसभा चुनाव 2024 की तैयारियों से भी जोड़कर देखा जा रहा है, क्योंकि लोकसभा चुनाव 2024 के नजदीक आते ही बीजेपी के वरिष्ठ नेताओं का उत्तराखंड दौरा शुरू हो गया है, बीजेपी का दावा है कि वो इस बार भी उत्तराखंड की पांचों सीटों पर अपनी जीत का परचम लहराएगा ।

उत्तराखंड लोक सेवा आयोग ने जारी किया लोवर पीसीएस परीक्षा का रिजल्ट, प्रदेश को मिले 36 नायब तहसीलदार समेत 186 अधिकारी

News web media Uttarakhand : उत्तराखंड लोक सेवा आयोग की ओर से लोवर पीसीएस परीक्षा-2021 का परीक्षा परिणाम जारी कर दिया गया है. इससे प्रदेश में 36 नायब तहसीलदार समेत 186 अधिकारी और निरीक्षण मिल सकेंगे. ढाई साल पहले आयोग की ओर से 191 पदों पर भर्ती के लिए विज्ञप्ति जारी गई थी. पांच पदों में से चार पर अभ्यर्थी नहीं मिलने और एक पद पर कोर्ट में मामला होने से परिणाम जारी नहीं किया जा सका है. परीक्षा परिणाम आने के बाद दस विभागों में अधिकारियों और कर्मचारियों का टोटा दूर हो जाएगा.

बता दें कि उत्तराखंड लोक सेवा आयोग की ओर से उत्तराखंड सम्मिलित राज्य (सिविल) अवर अधीनस्थ सेवा (लोवर पीसीएस) परीक्षा-2021 में दस विभागों के रिक्त 191 पदों पर सीधी भर्ती के लिए नौ अगस्त 2021 को आयोग कार्यालय की ओर से विज्ञप्ति/शुद्धि-पत्र 14 जनवरी 2022 को प्रकाशित किया गया था. 28 अगस्त को सम्पन्न मुख्य (लिखित) परीक्षा के बाद 26 दिसंबर 2023 से 24 जनवरी 2024 को साक्षात्कार परीक्षा कराई गई थी. 30 जनवरी, 31 जनवरी, 01 फरवरी 2024 को शारीरिक दक्षता परीक्षा के आधार अब अभ्यर्थियों के वरीयतानुसार परीक्षा परिणाम जारी कर दिया गया है.

आयाेग की ओर से जारी परीक्षा परिणाम में नायब तहसीलदार के 36, डिप्टी जेलर के 27, सप्लाई इंस्पेक्टर के 25, मार्केटिंग इंस्पेक्टर के 49, श्रम प्रवर्तन अधिकारी के नौ, आबकारी निरीक्षक के 10, कर अधिकारी के दो, ज्येष्ठ गन्ना विकास निरीक्षक के दो, गन्ना विकास निरीक्षक के 22 और खांडसारी निरीक्षक के दो पदों पर अभ्यर्थियों का चयन किया गया है.

आयोग के सचिव गिरधारी सिंह रावत ने बताया कि अभ्यर्थियों के मुख्य परीक्षा एवं साक्षात्कार के प्राप्तांक एवं कट ऑफ मार्क्स की सूचना आयोग की वेबसाइटhttps://psc.uk.gov.in/candidate-corner/results पर प्रसारित कर दी गई है. अभ्यर्थी वेबसाइट पर परिणाम विस्तार से देख सकते हैं

क्रिकेट के गलियारों में शोक की लहर, भारत के सबसे उम्रदराज क्रिकेटर दत्ताजीराव गायकवाड़ का निधन

News web media Uttarakhand : मंगलवार को क्रिकेट के गलियारों में शोक की लहर दौड़ गई, जब भारत के पूर्व टेस्ट कप्तान दत्ताजीराव गायकवाड़ का निधन हो गया. वह भारत के सबसे उम्रदराज क्रिकेटर थे और 95 साल की उम्र में उन्होंने दुनिया को अलविदा कह दिया है. दत्ता गायकवाड़ भारत के लिए सबसे लंबे समय तक जीवित रहने वाले क्रिकेटर रहे. उनके निधन की खबर आने के बाद से ही सोशल मीडिया पर क्रिकेटर्स व फैंस संवेदनाएं व्यक्त कर रहे हैं.

दत्ताजीराव गायकवाड़ ने भारत के लिए 11 टेस्ट खेले और उनमें से 4 में कप्तानी की. एक टेस्ट करियर जो 9 साल तक चला. भारत के पूर्व टेस्ट कप्तान ने जून 1952 में इंग्लैंड में डेब्यू किया था, उन्होंने दीपक शोधन के निधन के बाद 2016 के मध्य में भारत के सबसे उम्रदराज जीवित टेस्ट क्रिकेट का गौरव अर्जित किया, जब वह 87 वर्ष के थे.

दत्ताजी ने टेस्ट करियर में 11 मैचों में 350 रन बनाए, जिसमें एक अर्धशतक भी शामिल है. उन्होंने 1959 में इंग्लैंड में एक सीरीज के दौरान 4 टेस्ट मैचों में भारत की कप्तानी की. दौरे पर 1000 से अधिक रन बनाने के बावजूद, दत्ताजीराव उस फॉर्म को टेस्ट सीरीज में बदल नहीं कर पाए. बहरहाल, 1947 से 1964 तक 17 साल के घरेलू करियर में, दत्ताजीराव गायकवाड़ बड़ौदा के लिए फर्स्ट क्लास क्रिकेट में बहुत रन बनाने वाले खिलाड़ी थे.

दत्ताजीराव ने 110 मैचों में 5788 रन बनाए, जिसमें 17 शतक और 23 अर्द्धशतक शामिल थे. प्रथम श्रेणी क्रिकेट में उनका हाईएस्ट स्कोर नाबाद 249 रन था. आपको बता दें, दत्ताजीराव गायकवाड़ भारत के पूर्व क्रिकेटर अंशुमन गायकवाड़ के पिता थे, जिन्होंने 1975 और 1987 के बीच भारत के लिए 40 टेस्ट और 15 एकदिवसीय मैच खेले.

14 फरवरी को बुलाई गई धामी मंत्रिमंडल की बैठक, बजट सत्र के स्थान और तारीख को लेकर होगी चर्चा

News web media Uttarakhand : उत्तराखंड में धामी मंत्रिमंडल की बैठक 14 फरवरी को बुलाई गई। माना जा रहा है कि आगामी बजट सत्र को लेकर मंत्रिमंडल में चर्चा होगी। फरवरी माह में इस बार का बजट सत्र होना है। जो कि अभी गैरसेंण कराने की चर्चा है। हालांकि बर्फबारी और मौसम अनूकूल न होने की वजह से सत्र को देहरादून कराने की भी चर्चा है। हालांकि इस पर 14 फरवरी को होने वाले मंत्रिमंडल की बैठक में चर्चा होगी।
जिसके बाद इस पर फैसला होगा। जिसमें बजट सत्र की तारीख व स्थान तय किया जा सकता है। बजट सत्र को लेकर नेता प्रतिपक्ष यशपाल आर्य का बयान भी सामने आया है कि उन्होंने कहा कि बजट सत्र ग्रीष्मकालीन राजधानी गैरसैंण में हो या देहरादून में यह प्रदेश सरकार को तय करना है। अभी तक बजट सत्र आहूत करने के बारे में विपक्ष के साथ प्रदेश सरकार ने कोई चर्चा नहीं की है।
बर्फबारी व बारिश को देखते हुए सत्ता और विपक्ष के विधायकों ने भी दून में ही सत्र आहूत करने की इच्छा जताई है। विपक्ष की मांग है कि दो तीन दिन सत्र बुलाकर बजट पास कराना सरकार का मकसद नहीं होना चाहिए। आर्य ने कहाए कार्यमंत्रणा समिति से उनके साथ पार्टी के विधायक प्रीतम सिंह ने इस्तीफा दिया है।
उत्तराखंड में वित्तीय वर्ष 2024-25 के लिए विधानसभा का बजट सत्र 26 फरवरी को होने की संभावना है। हालांकि बजट सत्र ग्रीष्मकालीन राजधानी भराड़ीसैंण स्थित विधानमंडल भवन में करने का संकल्प है। लेकिन अभी इस बात पर संशय है कि सत्र देहरादून में होगा या भराड़ीसैंण में। सूत्रों के मुताबिक सत्ता पक्ष और विपक्ष के ज्यादातर सदस्य भराड़ीसैंण में सत्र कराने के पक्ष में नहीं हैं। इसकी एक प्रमुख वजह मौसम बताया जा रहा है।