News web media uttarakhand : उत्तराखंड में खेल के क्षेत्र में युवाओं द्वारा कमाई जा रही सफलता और उन्हें मिल रहे प्रोत्साहन का नतीज़ा है कि आज के वक्त में बच्चे भी खेल के नए नए क्षेत्रों का अन्वेषण कर रहे है। पारंपरिक खेलों से बाहर निकल कर युवा कुछ नया और अनोखा ढूंढ रहे हैं। इनमें से कुछ तो इन खेल क्षेत्रों में अपना परचम लहराने निकल चुके है। इस में सब से अनोखी बात है बेटियों का इन खेल कूद की गतिविधियों में बढ़ चढ़ कर भाग लेना।
उत्तराखंड राज्य की एक ऐसी ही बेटी है मीमांसा नेगी। देहरादून की रहने वाली मीमांसा नेगी 13 वर्ष की उम्र से ही स्केटिंग में कमाल कर रही हैं। स्केटिंग के क्षेत्र में वो 5 बार राष्ट्रीय स्तर की प्रतियोगिताओं में खेल चुकी हैं। 2022 में सीआईएसएस रीजनल में दो गोल्ड जीतने के बाद मीमांसा नेशनल प्रतियोगिता के लिए चयनित हुई थी, जिसके बाद उन्होंने अहमदाबाद के राष्ट्रीय प्रतियोगिता में शिरकत की थी। इस प्रतियोगिता में उन्होंने दूसरा स्थान प्राप्त कर सिल्वर मेडल जीता था।
इस वर्ष भी एक से तीन अक्टूबर तक हुई सीआईएससीई यूपी और उत्तराखंड रीजनल की स्केटिंग प्रतियोगिता में उन्होंने एक गोल्ड और एक सिल्वर मेडल जीता। इस जीत ने राष्ट्रीय प्रतियोगिता के लिए उनका द्वार फिर से खोल दिया है। रीजनल की स्केटिंग प्रतियोगिता जीतने के बाद मीमांसा का चयन फिर से राष्ट्रीय प्रतियोगिता के लिए हुआ है। 4 से 7 नवंबर को महाराष्ट्र के पुणे में राष्ट्रीय प्रतियोगिता का आयोजन किया जाएगा जिसे भीमांसा भी भाग लेंगी। उत्तराखंड राज्य को उनसे गोल्ड की पूरी उम्मीद है। छोटी सी उम्र से ही स्केटिंग का शौक रखने वाली मीमांसा अपनी उपलब्धि का श्रेय अपने कोच अरविंद गुप्ता और दीप मिथुन सेनातिपथी को देती है। उनका मानना है कि अपने कोच की ट्रेनिंग के कारण ही वो आज इस मुकाम पर पहुंची है।